प्रयागराज: पंचायत चुनाव केेेेेेेेेे दौरान संक्रमण से जान गवाने वाले एक शिक्षक की ड्यूटी 12 जून को होने वाले चुनाव में लगा दी गई है। शिक्षक नंदलाल राम की मौत मई में ही हो गई थी। मृत्यु के बाद उनकी चुनाव में ड्यूटी लगाने की शिक्षक संगठनों ने निंदा करते हुए विरोध जताया है।
बहरिया ब्लाक के प्राथमिक विद्यालय छाता के सहायक अध्यापक नंदलाल राम अप्रैल माह में पंचायत चुनाव में ड्यूटी के दौरान संक्रमित हो गए थे। बाद में उनकी मौत हो गई। अभी तक उनके परिवार को सरकारी सहायता भी नहीं मिल सकी है। सरकार सहायता देने के नाम पर मृत शिक्षक के परिवार से कोरोना मरने का प्रमाण पत्र मांग रही है। इसी बीच पंचायत सदस्यों के रिक्त पदों के लिए होने वाले चुनाव में उनकी ड्यूटी लगा दी गई। उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षक संघ के जिला अध्यक्ष देवेंद्र कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि 1 दिवंगत शिक्षक की मौत के बाद चुनाव ड्यूटी लगाना यह बताता है कि विभाग कितना संवेदनहीन है। उन्होंने बताया कि संस्कृत होने के कारण जब शिक्षक नंदलाल कोविड सेंटर में काम करने नहीं पहुंचे थे थे। बीएसए ने उन का वेतन भी रोक दिया था। संघ के विरोध के बाद शिक्षक का वेतन जारी किया गया था। राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ ने भी चुनाव ड्यूटी के चलते जान गवाने वाले शिक्षक की ड्यूटी दोबारा लगाने की निंदा की है ।