प्रयागराज: परिषदीय स्कूलों में बच्चों को बंटने वाले मिडडे मील की गुणवत्ता को लेकर शासन लगातार प्रयास कर रहा है। पौष्टिक और स्वच्छ भोजन बनाने के लिए फिल्म दिखाकर प्रशिक्षित किया जाएगा। नवीन पोषण प्रशिक्षण फिल्म दिखाने के बाद स्कूल के प्रधानाध्यापक रसोइयों के साथ बैठकर इसके प्रमुख बिंदुओं पर चर्चा भी करेंगे।जिले के मिड डे मील समन्वयक राजीव त्रिपाठी ने बताया कि जिले के परिषदीय स्कूलों में लगभग दस हजार रसोइये हैं। शासन की मंशा के अनुरूप इनमें लगभग 90 प्रतिशत महिलाएं हैं, जिनके बच्चे उस स्कूल में पढ़ाई कर रहे हैं। उन्हें मध्याह्न भोजन में पोषण तत्व बढ़ाने, स्वच्छता अपनाने व विद्यार्थियों के साथ किए जाने वाले व्यवहार को बेहतर करने व रसोई में सुरक्षा संबंधी प्रशिक्षण देने के लिए यह फिल्म दिखाई जाएगी।
45 मिनट की है फिल्म
45 मिनट की इस फिल्म में यह बताया जाएगा कि सब्जियों को बनाने से पहले पहले किस तरह से धोएं, उन्हें कैसे काटें ताकि पोषक तत्व बरकरार रहे। यदि स्कूलों में पोषण वाटिका है तो वहां की सब्जियों का प्रयोग कैसे बेहतर ढंग से किया जाए, उन्हें सब्जियों को तोड़ने, काटने से लेकर पकाने का बेहतर तौर-तरीका बताया जाएगा।रसोई में स्वच्छता संबंधी कौन सी सावधानियां बरतनी हैं और भोजन पकाने और परोसने से पहले हाथ जरूर साफ करने के लिए जागरूक किया जाएगा। चूल्हा और सिलिंडर के इस्तेमाल के समय कौन सी सावधानियां बरतनी जरूरी हैं। यह प्रशिक्षण सभी को दिसंबर तक जरूर पूरा कर लेना है।
प्रशिक्षण के लिए तैयार किया गया है एप
एमडीएम योजना के तहत स्कूलों में तैनात रसोइयों के प्रशिक्षण के लिए एफओएसएएफएमडीएम नामक एप तैयार किया गया है। इसे प्लेस्टोर से एंड्रायड फोन में डाउनलोड किया जा सकता है। इस एप में कुल 09 मॉड्यूल हैं। प्रत्येक तीन मॉड्यूल पर एक प्रश्नोत्तरी है, जिसे हल करने के बाद ही अगले मॉड्यूल पर जा सकते हैं। सभी मॉड्यूल पूरा करने पर प्रमाण पत्र दिया जाएगा। पोषण फिल्म दिखाए जाने के बाद उक्त एप का प्रयोग किए जाने से प्रशिक्षण को अधिक प्रभावशाली बनाया जा सकता है।
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