गोरखपुर: परिषदीय विद्यालयों के निरीक्षण में खंड शिक्षाधिकारियों (बीईओ) की शिथिलता सामने आई है। राज्य परियोजना कार्यालय ने मिशन प्रेरणा के तहत संचालित महत्वपूर्ण गतिविधियों एवं क्रियाकलाप क्रियान्वयन, बेहतर समन्वय व सतत अनुश्रवण के लिए की परफारमेंस इंडीकेटर निर्धारित किया है। जिसके तहत खंड शिक्षाधिकारियों को प्रत्येक माह 40 अलग-अलग स्कूलों का निरीक्षण करना है। लेकिन मार्च माह में निरीक्षण को लेकर खंड शिक्षाधिकारियों द्वारा घोर लापरवाही बरती गई। किसी ने सिर्फ चार स्कूलों का निरीक्षण किया तो किसी का खाता तक नहीं खुला।
डीएम विजय किरन आनंद ने खंड शिक्षाधिकारियों के इस रवैये पर नाराजगी जताई है। उन्होंने जिले के 18 खंड शिक्षाधिकारियों को नोटिस देकर लिखित स्पष्टीकरण मांगा है। साथ ही स्पष्टीकरण न देने पर कड़ी अनुशासनात्मक कार्रवाई की चेतावनी दी है। डीएम ने कहा है कि मासिक समीक्षा बैठक में निर्देश देने के बाद भी खंड शिक्षाधिकारियों द्वारा निरीक्षण पूर्ण नहीं किया जा रहा है। जिसका सीधा असर विद्यालयों शिक्षकों की उपस्थिति, नामांकन तथा पठन-पाठन पर पड़ रहा है।
तीन बीईओ ने एक भी स्कूल का नहीं किया निरीक्षण: डीएम ने जिन 18 बीईओ को स्कूलों के निरीक्षण में लापरवाही बरतने पर नोटिस दी है उनमें से ब्रह्मपुर, गोला व पिपराइच के बीईओ ने मार्च में एक भी स्कूल का निरीक्षण नहीं किया है। भरोहिया के बीईओ ने 32, सरदानगर के 26, जंगल कौड़ियां के 25, बांसगांव व खोराबार के 20-20, गगहा के 18, पिपरौली के 19, बड़हलगंज के 12, कौड़ीराम के नौ, पाली के 10, चरगांवा के सात, खजनी के पांच, बेलघाट व भटहट के चार चार तथा सहजनवां के बीईओ द्वारा एक स्कूल का निरीक्षण शामिल है।