जिले के 1931 स्कूल यूनिफाइड डिस्ट्रिक्ट इनफार्मेशन सिस्टम फार एजूकेशन (यू-डायस) पोर्टल पर अपने साधन-संसाधनों की सूचना देने से बच रहे हैं। यू-डायट पर डेटा अपलोड करने की आखिरी तारीख 30 जून है। अभी तक जिले के 4970 स्कूलों में से 3039 ने ही अपना डेटा अपलोड किया है। डीआईओएस और बीएसए लगातार डेटा अपलोड करने का निर्देश दे रहे हैं।
यू-डायस पोर्टल पर यूपी बोर्ड के सभी अनुदानित, शासकीय, अशासकीय के साथ सीबीएसई, आईसीएसई, मदरसा बोर्ड, संस्कृत बोर्ड, परिषदीय स्कूलों को भी अपना डेटा अपलोड करना होता है। इसके बाद ही स्कूल के लिए एक यू-डायस कोड दिया जाता है। यह कोड ही स्कूल की पहचान होता है। शासकीय योजनाओं के बनने और लागू करने में भी इस डेटा की अहम भूमिका होती है। परीक्षा केंद्रों के निर्धारण में भी यह डेटा बेहद उपयोगी है। सभी स्कूलों के लिए एक डेटा कैप्टर फार्मेट फार्म दिया जाता है। इस फार्म में स्कूल को अपना प्रोफाइल, स्टाफ, छात्र संख्या, रिजल्ट, आय और खर्च, सुरक्षा के इंतजाम का ब्यौरा भरना होता है।
51 पेज के फार्म पर भरनी है सूचना
पिछले वर्ष डेटा कैप्चर फार्म 40 पेज का था। इस बार यह 51 पेज का हो गया है। इस बार शिक्षकों की ट्रेनिंग और कायाकल्प से जुड़े काम के कालम भी बढ़ गए हैं। निजी स्कूल आय और खर्च का ब्यौरा देने से बचते हैं। इस कारण भी डेटा में देरी हो रही है। 16 मई से डेटा कैप्चर फार्म भरवाने का काम शुरू हुआ था। उसी समय गर्मी की छुट्टी हो गई । सरकारी शिक्षकों के पास पहले से ही ऑनलाइन फीडिंग के कई काम हैं। ऐसे में यू-डायस के काम से शिक्षक बच रहे हैं।
30 जून तक पूरा कराया जाएगा काम
डीआईओएस डा मुकेश कुमार सिंह ने बताया कि सभी स्कूलों को 30 जून तक हर हाल में डेटा अपलोड करने को कहा गया है। स्कूलों को चेतावनी का काफी असर भी हुआ है। मंगलवार को दिन भर में 697 नए स्कूलों ने डेटा अपडेट किया था। 30 जून तक हर हाल में काम पूरा हो जाएगा।