जौनपुर। परिषदीय विद्यालयों में छात्रों की संख्या बढ़ाने के लिए चलाए गए अभियान के तहत छात्रों की संख्या काफी बढ़ गई है। ऐसे में अब अतिरिक्त शिक्षकों की जरूरत पड़ेगी। परिषदीय स्कूलों में छात्रों की संख्या करीब पांच लाख पहुंच गई है।
जिले में करीब 15 हजार शिक्षकों की तैनाती है। मानक की बात करें तो निचले कक्षाओं में 30 बच्चों पर एक शिक्षक और ऊपर के कक्षाओं में 35 छात्रों पर एक शिक्षक की जरूरत होती है। ऐेसे में शिक्षकों की समस्या खड़ी हो जाएगी। विभाग के अधिकारियों की माने तो करीब एक हजार शिक्षकों की जरूरत और पड़ेगी। जिले में एक से पांच तक के कुल 1930 स्कूल हैं। कक्षा छह से आठ तक के 411 और एक से आठ तक के कुल 466 स्कूल हैं। इन स्कूलों में छात्रों की संख्या करीब पांच लाख पहुंच गई है। ऐसे में शिक्षकों की संख्या अब मानक के हिसाब से कम पड़ेगी। यदि 30 छात्रों पर एक शिक्षक रखा जाए तो तब भी करीब 16 हजार शिक्षकों की आवश्यकता पड़ेगी। इस हिसाब से परिषदीय स्कूलों में शिक्षकों की संख्या कम हो गई है। ऐसे में पढ़ाई का काम प्रभावित हो सकता है। नवीन पंजीकरण के लिए चलाए गए अभियान का नतीजा है कि छात्रों की संख्या करीब पांच लाख पहुंच गई है।
वर्जन
छात्रों की संख्या बढ़ाने के लिए चलाए गए अभियान में परिषदीय स्कूलों में छात्रों की संख्या करीब पांच लाख पहुंच गई है। शिक्षकों का मानक है कि 30 से 35 छात्र संख्या पर एक शिक्षक की तैनाती की जाए। छात्र संख्या बढ़ने के बाद अब शिक्षकों की संख्या कम पड़ेगी। करीब एक हजार शिक्षक की और जरूरत पड़ेगी। – डा. गोरखनाथ पटेल, बीएसए जौनपुर