● राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत वर्चुअल लैब खोली जाएंगी
● वर्ष 2022-23 में गणित और विज्ञान की 750 लैब बनेंगी
नई दिल्ली। राष्ट्रीय शिक्षा नीति की सिफारिशों के तहत स्कूलों में भी वर्चुअल लैब से पढ़ाई की सुविधा होगी। स्कूलों में अलग-अलग कक्षाओं के बच्चों को पाठ्यक्रम की बुनियादी जानकारी देने के बाद वर्चुअल लैब का उपयोग करना सिखाया जाएगा। कृत्रिम बुद्धिमता का उपयोग करके बच्चे आभासी वातावरण में गणित और विज्ञान को आसानी से समझ सकेंगे।
शिक्षा मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि बच्चों में तर्कसंगत सोच की क्षमता विकसित करने एवं रचनात्मकता को बढ़ावा देने के लिए वर्ष 2022-23 के दौरान गणित एवं विज्ञान में 750 वर्चुअल लैब और 75 कौशल ई-लैब स्थापित करने की योजना बनाई गई है।
केंद्रीय मंत्रिमंडल के सामने पेश मासिक रिपोर्ट के मुताबिक, इस कार्यक्रम के तहत अब तक 200 वर्चुअल लैब स्थापित हुई हैं। इसके तहत कक्षा नौ से 12 तक के लिए भौतिकी, रसायन विज्ञान, गणित और जीव विज्ञान विषय में दीक्षा पोर्टल पर वर्चुअल लैब की रूपरेखा रखी गई है। अधिकारी के अनुसार, वर्चुअल लैब कार्यक्रम से मध्य स्कूल स्तर और माध्यमिक स्कूल स्तर पर विद्यार्थियों, शिक्षकों और शिक्षक प्रशिक्षकों को फायदा होगा। इससे देश में करीब 10 लाख शिक्षक और 10 करोड़ छात्रों के लाभान्वित होने की उम्मीद है।
संस्कृति से जोड़ेगी कलाशाला शिक्षा मंत्रालय ने स्थानीय कला को प्रोत्साहित करने एवं समर्थन देने के लिए देश के 750 स्कूलों में ‘कलाशाला’ कार्यक्रम शुरू करने की भी योजना बनाई है। इस कार्यक्रम का लक्ष्य स्कूली छात्रों को देश की विभिन्न लोक कलाओं के बारे जानकारी देना तथा उन्हें भारत की समृद्ध सांस्कृतिक धरोहर के बारे में जानकारी जुटाने में मदद करना है।