शामली। कस्तूरबा बालिका आवासीय विद्यालयों में कार्यरत स्टाफ को सितंबर के मानदेय के लिए इंतजार करना पड़ेगा। शासन से मानदेय के लिए अभी बजट नहीं मिला है।
जिले में कस्बा बनत, भभीसा, पंजीठ और ऊन में कस्तूरबा बालिका आवासीय विद्यालय संचालित हैं। इन चारों विद्यालयों में 56 लोगों का स्टाफ कार्यरत है। बताया गया है कि विद्यालयों में तैनात स्टाफ को इस बार सितंबर के मानदेय के लिए इंतजार करना पड़ेगा।
बताया जा रहा है कि मानदेय के लिए शासन से अभी बजट नहीं मिला है जो बजट पहले से बचा हुआ था, उसे भी शासन के निर्देश पर वापस भेज दिया गया था। इस महीने में त्योहार भी शुरू हो रहे हैं। समय से मानदेय नहीं मिला तो स्टाफ की परेशानी का सामना करना पड़ सकता है
बेसिक शिक्षा के जिला समन्वयक बालिका राजीव कुमार ने बताया कि कस्तूरबा बालिका आवासीय विद्यालयों में शिक्षिकाएं, वार्डन समेत 56 लोगों का स्टाफ कार्यरत हैं।
मानदेय के लिए शासन से अभी बजट नहीं मिला है जो बजट पहले से बचा हुआ था, उसे करीब 15 दिन पहले शासन ने मंगा लिया था। नया बजट अभी नहीं आया है।
शासन से बजट मिलने पर ही विद्यालयों में कार्यरत स्टाफ को सितंबर माह का मानदेय दिया जाएगा। उन्होंने मानदेव के लिए बजट जल्द ही मिलने की उम्मीद जताई है।