प्रयागराज, । यूपी बोर्ड से जुड़े 28 हजार से अधिक स्कूलों में पढ़ने वाले कक्षा नौ से 12 तक के एक करोड़ से अधिक बच्चों तक अधिकृत और त्रुटिहीन किताबें पहुंचाने के मकसद से बोर्ड अब हिन्दी, संस्कृत और उर्दू की किताबें अपनी निगरानी में छपवाएगा। राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के अनुसार तैयार हो रहीं किताबों के प्रकाशन की जिम्मेदारी बोर्ड लेगा। अब तक इन तीन विषयों का पाठ्यक्रम तो बोर्ड निर्धारित करता है लेकिन किताबों के प्रकाशन पर बोर्ड का नियंत्रण नहीं है।
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