मिर्जापुर। लालडिग्गी स्थित डॉ. काशी प्रसाद जायसवाल जूनियर हाईस्कूल में प्रधानाध्यापक और सहायक अध्यापक पद पर हुई नियुक्ति के मामले में बीएसए ने अनुमोदन वापस ले लिया है। इसके बाद प्राधिकृत नियंत्रक ने प्रधानाध्यापक समेत तीन शिक्षकों की सेवा समाप्त कर दी है। आरोप है कि मानकों की अनदेखी कर ये नियुक्तियां की गई थीं।
इन शिक्षकों की नियुक्ति वर्ष 2015-16 में की गई थी। नियुक्ति के बाद से ही शिकायत आनी शुरू हो गई थी। इस मामले में जब अधिक शिकायत हुई तो जांच के लिए समिति बना दी गई। इस समय स्कूल में दो प्रबंधकीय समितियां काम कर रही हैं। इसको देखते हुए महानिदेशक स्कूल शिक्षा के निर्देश पर बीएसए ने हलिया के खंड शिक्षा अधिकारी जय कुमार यादव को बैठक हुई। प्राधिकृत नियंत्रक बनाया है।
डॉ. काशी प्रसाद जायसवाल जूनियर हाईस्कूल में नियुक्ति संबंधी मामले की जांच के लिए गठित समिति को प्रधानाध्यापक मनोज कुमार चीचे निगतपुर, सहायक अध्यापक मंगला चरण मोतीनगर
फैजाबाद और डॉ. रेनू देवी भरहना की नियुक्ति में गड़बड़ी मिली। जांच में यह तथ्य सामने आया कि बेसिक शिक्षा नियमावली की अनदेखी कर नियम विरुद्ध तरीके से नियुक्ति की गई है।
नियम विरुद्ध तरीके से नियुक्ति होने का मामला सामने आने पर महानिदेशक स्कूल शिक्षा की जांच आख्या एवं संस्तुति के अलावा बीएसए मिजापुर के अनुमोदन पर प्राधिकृत नियंत्रक जय कुमार यादव ने इन शिक्षकों की नियुक्ति तिथि से सेवा समाप्त कर दी है।
इस प्रकरण में विद्यालय के तत्कालीन प्रबंधक दिनेश कुमार पांडेय ने शिकायत की थी। इसके लिए शासन स्तर पर विशेष सचिव देव प्रताप सिंह की अध्यक्षता में
बीएसए गौतम प्रसाद ने बताया कि स्कूल महानिदेशक और निदेशक बेसिक शिक्षा के निर्देश पर उन्होंने इस नियुक्ति संबंधी अनुमोदन तत्काल प्रभाव से वापस ले लिया है। इसके साथ ही इन शिक्षकों की सेवा समाप्त हो गई है।