लखनऊ। नई पेंशन योजना के अंशदान की कटौती के लिए प्रान (परमानेंट रिटायरमेंट एकाउंट नंबर) आवंटन की अनिवार्यता को लेकर बेसिक शिक्षा विभाग के शिक्षकों में नाराजगी है। पुरानी पेंशन की आस में कई जिलों में शिक्षक नई पेंशन योजना से नहीं जुड़ना चाह रहे। वहीं शासन द्वारा बिना पान आवंटन के वेतन रोके जाने की चेतावनी का शिक्षकों ने विरोध किया है शिक्षक संगठनों का कहना है कि इसे ऐच्छिक किया जाना चाहिए।
उत्तर प्रदेशीय प्राथमिक शिक्षक संघ के प्रदेश अध्यक्ष दिनेश चंद्र शर्मा का कहना है कि प्राथमिक शिक्षकों का वर्ग शुरू से नई पेंशन का विरोध कर रहा है। शिक्षक पुरानी पेंशन चाहते हैं। यदि सरकार उन्हें पुरानी पेंशन नहीं दे रही तो नई पेंशन के लिए प्रान आवंटन की जिद क्यों कर रही? उन्होंने कहा कि शासन द्वारा प्रान आवंटन न होने पर वेतन रोकने की चेतावनी देना गलत है। यह तो जबरदस्ती है। उनके अनुसार शिक्षकों को इस बारे निर्णय लेने के लिए स्वतंत्र कर देना चाहिए। उत्तर प्रदेश दूरस्थ बीटीसी शिक्षक संघ के प्रदेश अध्यक्ष अनिल यादव का कहना है कि वेतन रोकने का आदेश अन्याय है।
शिक्षकों को इस बारे में निर्णय लेने की छूट मिलनी चाहिए। ऐसे शिक्षक जो प्रान आवंटित कराना चाह रहे हैं, उनका बिना दिक्कत के प्रान आवंटित किया जाए, बाकी जो नई पेंशन नहीं चाहता उसे छूट दी जाए।