आरटीई (शिक्षा का अधिकार) के अंतर्गत निजी स्कूलों में प्रवेश पाने वाले छात्रों के साथ सौतेला व्यवहार किए जाने का आरोप लगाया है। एक अभिभावक ने शनिवार को अभिभावक संघ को पत्र लिखकर इसकी शिकायत की है। इस बांटे लैपटाप मामले में अभिभावक संघ के कि बच्चों के साथ इस तरह का सौतेला व्यवहार किया जाना बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है। इस संबंध में स्कूल प्रबंधन को माफी मांगनी पड़ेगी।
करमपुर चौधरी निवासी अभिभावक शोभा विष्ट ने अभिभावक संघ को दी शिकायत में आरोप लगाया है कि उनका बेटा एक निजी स्कूल में कक्षा तीन में पढ़ता है।
उसका आरटीई के तहत प्रवेश हुआ था। आरोप है कि आरटीई से प्रवेश पाने के चलते बच्चे को दूसरे बच्चों के साथ किसी भी एक्टिविटी में नहीं लिया जाता है। कक्षा में भी अलग ही बैठाया जाता है। कई बार पेरेंट्स मीटिंग में इसकी शिकायत की तो दो टूक जवाब दे दिया गया कि बच्चे की स्कूल को फीस नहीं मिलती है।
उन्होंने आरोप लगाया कि इस बार क्लास टीचर के साथ बच्चों का ग्रुप फोटो लिया गया, उसमें भी बच्चों को अलग कर दिया गया। बच्चे का एडमिट कार्ड भी अन्य छात्रों से अलग था। उन्होंने जांच कर कार्रवाई की मांग की है। इस मामले में स्कूल की प्रधानाचार्य का कहना है कि हमारे स्कूल सभी बच्चों को एक ही तरह का माहौल दिया जाता है। अभिभावक जबरदस्ती विवाद पैदा कर रही हैं। फिलहाल, मामला अभी तक विभागीय अफसरों तक नहीं पहुंचा है।