नई दिल्ली। राष्ट्रीय पाठ्यचर्या रूपरेखा के मसौदे के अनुसार कक्षा 12वीं के लिए बोर्ड परीक्षाएं दो चरणों (टर्म) में कराई जा सकती हैं। वहीं 10वीं और 12वीं के अंतिम परिणाम पिछली कक्षा के अंकों को ध्यान में रख कर तय किए जा सकते हैं। कक्षा 11वीं और 12वीं के लिए विज्ञान, कला या मानविकी और वाणिज्य स्ट्रीम में विभाजित करने की मौजूदा प्रथा को दूर करने का भी प्रस्ताव किया गया है। एनसीएफ आखिरी बार 2005 में संशोधित हुआ था।वर्ष 2009 में कक्षा 10वीं के लिए सतत और व्यापक मूल्यांकन की शुरुआत की गई थी। ब्योरा P10
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