पोर्टल पर गलत दर्शाई है प्रदेश के 42 जनपदों में शिक्षकों के रिक्त पदों की संख्या*
सहारनपुर। बेसिक शिक्षकों के अंतर जनपदीय स्थानांतरण को लेकर पोर्टल पर शिक्षकों के जिलेवार गलत रिक्त पद दर्शाए जाने के मामले में शिक्षक उच्च न्यायालय पहुंचे हैं। सहारनपुर निवासी शिक्षक विशाल कुमार लांबा ने बताया वह सहारनपुर और प्रदेश स्तर पर दो अलग-अलग याचिकाएं दायर कर रहे हैं। उनकी मांग है कि शिक्षकों के रिक्त पदों की सही जानकारी पोर्टल पर अपलोड की जाए।
विशाल कुमार लांबा शुक्रवार को अपने साथी शिक्षकों के साथ उच्च न्यायालय इलाहाबाद पहुंचे हैं। विशाल ने बताया कि बेसिक शिक्षा परिषद की जिस वेबसाइट पर स्थानांतरण के लिए ऑनलाइन आवेदन किए जा रहे हैं। उस पर जनपदवार शिक्षकों के रिक्त पदों की संख्या दर्शाई गई है। इसकी वजह से शिक्षकों को सही जानकारी नहीं मिल पा रही है। इस कारण वह अपने मनचाहे जनपद के लिए आवेदन नहीं कर पा रहे हैं। उन्होंने उदाहरण दिया कि सहारनपुर के उच्च प्राथमिक विद्यालयों में सहायक अध्यापकों के 311 रिक्त पद हैं, लेकिन पोर्टल पर शून्य संख्या दर्शाई गई है। प्रदेश के 42 जनपदों के बारे में इसी तरह गलत तरह से संख्या शून्य दर्शाई गई है। इसमें दो दिन पहले डीएम सहारनपुर से मुलाकात कर उनको ज्ञापन सौंपा गया था। चूंकि मामला प्रदेश स्तर का है। ऐसे में लगता है कि जिला स्तर पर मांग रखने से ज्यादा कुछ होने वाला नहीं है।
चंद्रशेखर ने ट्वीट कर उठाया सवाल
भीम आर्मी भारत एकता मिशन के प्रमुख एवं आजाद समाज पार्टी के संस्थापक चंद्रशेखर ने भी ट्वीट के जरिए सवाल उठाया है। उन्होंने लिखा है मुख्यमंत्री योगी जी की नीति केवल दिखावा करके वाहवाही लूटने की है। शिक्षकों की घर वापसी में उच्च प्राथमिक विद्यालय स्तर पर 42 जनपदों में हजारों रिक्तियां होने के बाद भी पोर्टल पर शून्य रिक्तियां बताना शिक्षकों के समक्ष एक नई समस्या खड़ी करना है। भाजपा की यूपी सरकार ने पिछले छह साल जनता के सामने सिर्फ समस्या खड़ी की है समाधान नहीं। उन्होंने लिखा है कि सहारनपुर में 311 रिक्तियां हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री से शिक्षकों की समस्या के शीघ्र समाधान की मांग की।