लखनऊ, गर्मी और उमस से गुरुवार को काकोरी के एक कम्पोजिट स्कूल में पढ़ाई कर रहे दर्जन भर बच्चों की तबीयत बिगड़ गई। बच्चों के दस्त, पेट दर्द की शिकायत पर आनन-फानन शिक्षकों ने दवा दिलवायी। तब जाकर बच्चों की तबीयत में सुधार हुआ। ग्रामीण क्षेत्र के दूसरे स्कूलों के बच्चे भी गर्मी से बीमार हो रहे हैं। गर्मी में एक-एक कमरे में 40 से 50 बच्चे दोपहर दो बजे तक बैठकर पढ़ाई कर रहे हैं। शिक्षकों का आरोप है कि स्कूलों में बिजली न आने से यहां पंखे नहीं चल रहे हैं।
काकोरी स्थित सरोसा भरोसा कम्पोजिट स्कूल में 400 से अधिक बच्चे पंजीकृत हैं। रोजाना करीब 300 बच्चे आ रहे हैं। गुरुवार को करीब 12 बच्चों ने शिक्षकों से पेट में दर्द, दस्त और उबकाई की शिकायत की। प्रधानाध्यापक वीरेन्द्र सिंह ने बताया कि बच्चों को तुरंत पुदीना हरा, ओआरएस पिलाया गया। बच्चों की तबीयत में सुधार होने पर घर भेज दिया गया। उप्र. प्रदेशीय प्राथमिक शिक्षक संघ के मंत्री वीरेन्द्र सिंह का कहना है कि गर्मी में दोपहर दो बजे तक बिना पंखे बच्चों को बैठने में दिक्कतें हो रही हैं। स्कूल के समय परिवर्तन की मांग की गई है।
● काकोरी के स्कूल में पेट दर्द-दस्त पर शिक्षकों ने बच्चों को दी दवाएं
● बिना पंखा सुबह आठ से दो बजे तक एक कमरे में भरे थे 40 बच्चे
बच्चों के बीमार होने की जानकारी नहीं है। स्कूलों के समय में बदलाव के लिए शासन से जो आदेश होंगे। उसका पालन कराया जाएगा।
-अरुण कुमार, बीएसए
गर्मी में छोटे बच्चों को कमरे में बैठा पाना बेहद मुश्किल हो रहा है। बिजली कटौती से पंखे भी नहीं चल पा रहे हैं। कुछ बच्चों की तबीयत खराब हो जा रही है। अधिकारियों को समय में बदलाव करना चाहिए। विनय सिंह, प्रान्तीय अध्यक्ष, प्राथमिक शिक्षक प्रशिक्षित स्नातक एसोसिएशन