लखनऊ। राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के अध्यक्ष जेएन तिवारी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को ईमेल से ज्ञापन भेजकर पुरानी पेंशन बहाली के लिए विकल्प खोलने की मांग की है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने अपने कर्मचारियों के लिए एक अप्रैल 2004 से पुरानी पेंशन समाप्त कर दिया था। इसी तर्ज पर राज्यों में भी पुरानी पेंशन समाप्त करते हुए नई पेंशन योजना लागू कर दी गई।
उन्होंने कहा कि कुछ राज्यों ने कर्मचारी संगठनों के विरोध के बाद पुरानी पेंशन को फिर से अपना लिया है लेकिन इसमें तकनीकी दिक्कतें बनी हुई हैं। जिन राज्यों ने पुरानी पेंशन अपनाई है, उन राज्यों के कर्मचारियों का एनपीएस के तहत किए गए अंशदान की कटौती अधर में लटकी हुई है। ऐसे में उन्होंने नई पेंशन योजना से पुरानी पेंशन योजना में जाने के लिए विकल्प खोलने की मांग की है। परिषद के अध्यक्ष ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से 26 अगस्त को मुलाकात में पुरानी पेंशन पर चर्चा हुई थी। इसमें सीएम ने कहा था कि केंद्र सरकार ने पुरानी पेंशन की बहाली के संबंध में एक समिति गठित किया है। इसकी रिपोर्ट के आधार पर आगे की कार्यवाही की जाएगी। तिवारी ने कहा कि यदि देश व प्रदेश के कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना में जाने का विकल्प नहीं दिया गया तो आने वाले चुनाव में इसका असर दिखेगा।