पथरदेवा (देवरिया) : पर्यावरण और पक्षियों के प्रति प्रधानाध्यापक खैरुल बसर का असंवेदनशील आचरण उनके निलंबन का कारण बन गया। उन्होंने बिना अनुमति पीपल के पेड़ की डालियां कटवा दी, जिससे टहनियों के बीच बने दर्जनों घोसले तहस-नहस हो गए। इस घटना में 12 पक्षियों की मौत और नौ के घायल होने से ग्रामीण व्याकुल हो उठे। उन्होंने पुलिस, वन और शिक्षा विभाग में इसकी शिकायत कर दी। जांच की तो मामला सही पाया गया। बीईओ की रिपोर्ट पर बेसिक शिक्षा अधिकारी ने प्रधानाध्यापक के विरुद्ध कार्रवाई कर दी। वन विभाग के अधिकारियों ने मुकदमा दर्ज कराने की बात कही है।
देवरिया के प्राथमिक विद्यालय मुरार
प्राथमिक विद्यालय मुरार छापर के परिसर में पीपल के पुराने पेड़ पर सैकड़ों पक्षी घोंसला बनाकर रहते हैं। शनिवार को विद्यालय बंद होने के बाद प्रधानाध्यापक ने मजदूर बुलाकर हरे पेड़ की डालियां कटवानी कर दी। डालियां गिरते शुरू ही पक्षियों के अलावा घोंसलों में रखें चूजों की भी दबने से मौत हो गई। यह दृश्य देखकर भावुक ग्रामीणों
छापर का मामला • पुलिस, शिक्षा और वन विभाग के अधिकारी जांच में जुटे
हरे पेड़ को कटवाने से पहले अनुमति ली जानी चाहिए थी । घायल नौ पक्षियों का उपचार चल रहा है। दोषी के विरुद्ध वन संरक्ष अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज कराया जाएगा।
खंड शिक्षा अधिकारी (बीईओ) ने अनुपम मौर्या, वन क्षेत्राधिकारी, देवरिया प्रधानाध्यापक ने बिना किसी अनुमति के हरे पेड़ की टहनियां कटवाई हैं। जिससे पक्षी भी मर गए हैं। प्रधानाध्यापक को निलंबित कर जांच कराई जा रही है।
शालिनी श्रीवास्तव, बीएसए. देवरिया
ने शिकायत कर दी। खंड शिक्षा अधिकारी गोपाल मिश्र ने रविवार को विद्यालय पहुंचकर जांच की।
प्रधानाध्यापक का कहना है कि पीपल पर काफी संख्या में बगुला रहते हैं। इससे गंदगी और दुर्गंध फैलती है। बच्चों में संक्रामक बीमारियों के फैलने का डर था । प्रधान से कई बार कहा, लेकिन उन्होंने संज्ञान नहीं लिया।