बस्ती। शैक्षणिक सत्र शुरू हुए छह माह बीतने को है। अभी परिषदीय विद्यालयों की दशा नहीं सुधरी है। अधिकांश स्कूलों में शिक्षकों की कमी बरकरार है। बच्चे रोजाना गुरूजी की राह निहारकर घर लौट जा रहे हैं। अंतर जनपदीय स्थानांतरण के तहत जिले से 271 परिषदीय शिक्षक गैर जनपदों के लिए रिलीव हो चुके हैं। जबकि यहां बाहर से आने वाले शिक्षकों की संख्या महज 137 है। इन शिक्षकों की भी तैनाती अभी विद्यालयों में नहीं की गई है। इनकी हाजिरी बीएसए कार्यालय में लग रही है।
, 336 जूनियर और 301 संविलियन विद्यालय संचालित किए जा रहे हैं। इनमें पंजीकृत छात्रों की संख्या दो लाख 844 है। विभागीय मानक 40 बच्चों पर एक शिक्षक के अनुसार इन्हें पढ़ाने के लिए लगभग पांच हजार 21 शिक्षकों की आवश्यकता है। इसके सापेक्ष जनपद में कुल 2385 शिक्षक ही तैनात रहे। यह संख्या आधे से भी कम है। अंतर जनपदीय स्थानांतरण में शिक्षकों की यह संख्या घटकर 2071 पर पहुंच गई है। शिक्षकों की कमी के चलते विद्यालयों में पठन-पाठन की स्थिति बेहतर नहीं हो सकी। स्थानांतरण के बाद जिन 137 शिक्षकों की यहां आमद हुई उन्हें अभी तक विद्यालय आवंटित नहीं हुआ है। बनकटी ब्लॉक के प्राथमिक विद्यालय गेल्हापार, गौर के प्राथमिक विद्यालय मसही और प्राथमिक विद्यालय करमिया, रामनगर ब्लॉक के पूर्व माध्यमिक विद्यालय सगरा, कटरिया नानकार एवं मैलानी उर्फ बेलवा, सदर ब्लॉक में प्राथमिक विद्यालय लकड़ा, सल्टौआ ब्लॉक में पूर्व माध्यमिक विद्यालय औड़जंगल में एक भी शिक्षक की तैनाती नहीं है। इन विद्यालयों में कार्यालयी कामकाज निपटाने के लिए दूसरे स्कूलों में तैनात शिक्षकों को संबद्ध किया गया है। इसके अलावा जिले भर में सौ से अधिक ऐसे विद्यालय है जो एकल शिक्षक के सहारे संलालित किए जा रहे हैं।
शिक्षक विहीन विद्यालयों का दृश्य
रामनगर ब्लाॅक के पूर्व माध्यमिक विद्यालय सगरा में सोमवार को दिन में 11.18 बजे तक सन्नाटा पसरा हुआ है। यहां शिक्षक न होने से बच्चों की संख्या न के बराबर है। पंजीकृृृत 10 छात्रों के सापेक्ष महज तीन छात्र मौजूद मिले। अतरडीहा उमावि के के शिक्षक सुभाष गुप्ता यहां संबद्ध किए गए हैं। वह बीआरसी पर आयोजित मीटिंग में जाने की तैयारी कर रहे थे। बच्चे अपना समय खेलकूद में बिताते नजर आए।
समय 11.38 बजे उमावि कटरियानानकार में पंजीकृृृृत 43 छात्रों के सापेक्ष 38 बच्चों की मौजूदगी मिली। यहां संबद्ध शिक्षक अजीत कुमार राव मौजूद मिले। मगर उनकी मूल तैनाती इब्राहिमचक सेखापुर में बताई गई। पठन-पाठन का माहौल यहां भी देखने को नहीं मिला। मैलानी उर्फ बेलवा में 1.19 बजे ही बच्चों की छुट्टी कर दी गई। यहां कुल 24 बच्चों में महज सात बच्चे उपस्थित रहे। संबद्ध शिक्षक सुनील कुमार ने बताया कि बारिश के मौसम की वजह से थोड़ा पहले छुट्टी कर दी गई है। खंड शिक्षा अधिकारी नीरज सिंह ने बताया कि शिक्षक विद्यालयों की सूची उच्चाधिकारियों को भेज दी गई है।
41 बच्चों पर एक भी शिक्षक नहीं
सल्टौआ गोपालपुर ब्लॉक के पूर्व माध्यमिक विद्यालय औड़जंगल में 41 बच्चों पर एक भी शिक्षक नहीं तैनात है। उधार के अध्यापक से यहां भी काम चलाया जा रहा है। सोमवार को महज 21 बच्चे उपस्थित हुए।
जिनके शिक्षा का दारोमदार संबद्ध शिक्षक मुक्तेश्वर त्रिपाठी पर है। जबकि उनकी मूल तैनाती पूमावि परसौना में है। ऐसे एक साथ दो- दो विद्यालयों का पठन-पाठन व्यस्थिति कर पाना उनके लिए कठिन है। बच्चे खेलकूद कर अपने घर लौट जा रहे हैं।
डेल्हापार में नहीं मिले शिक्षक
बनकटी ब्लॉक के प्राथमिक विद्यालय डेल्हापार में एक भी शिक्षक तैनात नहीं है। सोमवार को जब यहां टीम पहुंची तो संबंद्ध प्रधानाध्यापक मौजूद नहीं मिले। शिक्षा मित्र अशोक कुमार विश्वकर्मा ने बताया कि 31 मार्च को यहां तैनात प्रधानाध्यापक गिरीश चंद पांडेय सेवा निवृत्त हो गए। तभी से यह विद्यालय शिक्षकविहीन हो गया। 45 बच्चे मौजूद मिले। तीन शिक्षामित्रों के भरोसे यह विद्यालय संचालित हो रहा है। भवन भी जर्जर हो चुका है।
शिक्षकों की कमी से शासन को अवगत कराया जा चुका है। समय-समय पर रिपोर्ट प्रेषित की जाती है। यह उच्च स्तरीय मामला है। जिले स्तर पर उपलब्ध शिक्षकों से काम चलाया जा रहा है। बाहर से आए शिक्षकों को जल्द विद्यालय आवंटित कर दिया जाएगा। इससे समस्या काफी हद तक दूर हो जाएगी।
अनूप कुमार, बीएसए।