मुरादाबाद। गुन्नौर कोतवाली क्षेत्र के कैल गांव में शिक्षकों की पिटाई से आहत कक्षा सात के छात्र ने फांसी लगाकर जान दे दी। एक शिक्षक छात्र को घर से बुलाकर स्कूल ले गया था। यहां उसको कमरा बंदकर दो शिक्षकों समेत तीन लोगों ने बेरहमी से पीटा।
कमरे के बाहर छात्र की मां उसको छोड़ने की गुहार लगाती रही, लेकिन किसी ने उसकी बात नहीं सुनी। छात्र की मौत से परिवार में कोहराम मच गया है। छात्र के परिजनों ने आरोपी शिक्षकों समेत तीन लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है। क्षेत्र के गांव कैल निवासी भूरे सिंह का 13 वर्षीय बेटा दानवीर गांव के ही निजी स्कूल में कक्षा सातवीं का छात्र था। सोमवार सुबह को स्कूल का एक शिक्षक छात्र के घर पहुंचा और उसको घर से बुलाकर ले गया।
शिक्षक ने छात्र की मां शांति देवी से भी स्कूल आने के लिए कहा। स्कूल में छात्र को शिक्षकों ने कमरे में बंद कर लिया और पूछताछ करने लगे। कुछ देर पूछताछ करने के बाद शिक्षक छात्र की पिटाई करने लगे। छात्र दानवीर की मां शांतिदेवी भी स्कूल में पहुंच गई। शांति देवी स्कूल पहुंचीं, तब स्कूल के शिक्षक छात्र की पिटाई कर रहे थे। मां ने बेटे को पिटते हुए देखा, तो वह बेटे को छोड़ने की गुहार लगाने लगी। कुछ देर बाद शिक्षकों ने छात्र को छोड़ दिया। छात्र घर पहुंचा। परिवार के सदस्य खेत पर गए थे। इसी बीच छात्र ने घर मे बनी पशुशाला में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। दोपहर के समय शांतिदेवी खेत से घर लौटी, तो बेटे का शव फांसी के फंदे पर लटका देखा, तो उसकी चीख निकल गई। चीख पुकार सुनकर परिजन दौड़कर पहुंचे। छात्र की मौत से परिवार में कोहराम मच गया। मां शांतिदेवी, पिता भूरे सिंह और परिवार के अन्य लोगों का रो-रोकर बुरा हाल हो गया। सूचना पर पहुंची पुलिस ने छात्र का शव पोस्टमार्टम को भेज दिया है और दो शिक्षकों समेत तीन लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है। सीओ आलोक सिद्धू ने बताया कि धर्मवीर, हेमंत और बलवीर के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है।
आखिर ऐसा क्या हुआ, जो छात्र को कमरे में बंद कर पीटा
संभल। गांव कैली निवासी छात्र दानवीर को शिक्षकों ने कमरे में बंद कर लिया। स्कूल के बच्चों के सामने ही शिक्षकों ने छात्र से पूछताछ शुरू कर दी। शिक्षकों ने छात्र से करीब पंद्रह मिनट तक पूछताछ की। आखिर ऐसा क्या मामला था, जो छात्र से लंबी पूछताछ करने की गई। बच्चों के सामने ही शिक्षकों ने छात्र की पिटाई की। यह बात कोई बताने को तैयार नहीं है कि शिक्षकों ने छात्र से क्या पूछा और मारपीट क्यों की। पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया है लेकिन पुलिस इस प्रकरण की जांच कर रही है कि आखिर छात्र से किस मामले में शिक्षकों ने पूछताछ की और फिर पिटाई क्यों की।
गिड़गिड़ाती रही मां, पर नही छोड़ा छात्र
भकरौली। कैल गांव निवासी मृतक छात्र दानवीर की मां शांति ने बताया कि स्कूल का एक अध्यापक घर आया और बेटे दानवीर को अपने साथ स्कूल ले गया जबकि मुझे भी स्कूल आने को कहकर गया। जब तक वह स्कूल पहुंची तब तक दो अध्यपक व एक ग्रामीण बेटे को स्कूल के कमरे को अंदर से बंद कर पिटाई कर रहे थे। मां शांति ने बताया कि बेटे की चीख को सुन वह दरवाजे पर काफी देर तक गिड़गिड़ाती रही लेकिन किसी ने उसकी नहीं सुनी।
बगैर मान्यता के संचालित हो रहा है स्कूल
भकरौली। गांव कैल में संचालित हो रहे स्कूल में दो ही शिक्षक हैं जबकि वह आठवीं कक्षा तक के बच्चों को पढ़ाते हैं। ग्रामीणों की मानें, तो स्कूल संचालन के लिए मान्यता भी नहीं ली है। मृतक छात्र के परिजनों ने स्कूल का संचालन भी बंद कराने की मांग उठाई है।