सुलतानपुर, दोस्तपुर ब्लॉक क्षेत्र स्थित उच्च प्राथमिक विद्यालय विशनागरपुर में सहायक अध्यापक व जूनियर हाईस्कूल शिक्षक संघ के प्रांतीय मंत्री इन्द्र प्रताप पांडेय को बीएसए ने निलंबित कर दिया है।
आरोप है कि शिक्षक नेता और बीएसए के बीच ऑफिस में जमकर तूतू-मैंमैं हुई। डीबीटी में ढिलाई बरतने पर पहले से बीएसए ने वेतन रोक रखा है। अब तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया। निलंबन अवधि में उन्हें मोतिगरपुर बीआरसी से सम्बद्ध कर दिया गया है।
निलंबित शिक्षक नेता पांडेय के मामले में जांच कर आरोप पत्र दाखिल करने के लिए खण्ड शिक्षा अधिकारी लम्भुआ सुधीर कुमार सिंह को जिम्मेदारी दी गई है। बीएसए ने आदेश में कहा है कि सहायक अध्यापक उच्च प्राथमिक विद्यालय विशनागरपुर, शिक्षा क्षेत्र दोस्तपुर 10 अक्तूबर सायं पांच बजे बीएसए कार्यालय कक्ष में उपस्थित हुए। इनके द्वारा डीबीटी का कार्य कुल 38 बच्चों के सापेक्ष मात्र 29 बच्चों का आधार वेरीफाइड किया गया ।
किन्तु नौ बच्चों का छात्र आधार ( 24% ) के सत्यापन का कार्य पूर्ण न किए जाने के कारण अग्रिम आदेश तक रोके गए वेतन को बहाल करने का दबाव बनाया। धीमी स्वर में बात करने को कहा तो इनके द्वारा अमर्यादित व्यवहार करते हुए कहा गया कि ऐसे ही बात करूंगा।
इस पर बाध्य होकर बीएसए ने अनुचरों एवं कार्यालय के अन्य लिपिकों से इन्द्र प्रताप पांडेय को बीएसए कार्यालय के कक्ष से बाहर करने के लिए कहा। इसके बाद पाण्डेय द्वारा अध्यापक की गरिमा का हनन करते हुए बीएसए को देख लेने की धमकी दी जा रही थी।
अध्यक्ष ने बीएसए की कायैशैली उठाए सवाल
सुलतानपुर उत्तर प्रदेश जूनियर हाईस्कूल शिक्षक संघ के प्रदेश अध्यक्ष योगेश त्यागी ने प्रांतीय मंत्री इंद्र प्रताप पाण्डेय को निलंबित करने को अनुचित करार दिया है। कहा कि यह कार्रवाई शासनादेश के खिलाफ है। बीएसए जानबूझ कर शिक्षक संघ के पदाधिकारियों को दबाव में लेने की नियत से ऐसा कर रही हैं। शासन के आदेश निर्देश उनके लिए कोई मायने नहीं रखते। किसी भी कर्मचारी का वेतन लम्बे समय तक बाधित नहीं रखा जा सकता है।