झाँसी : जनपद में वरिष्ठ शिक्षकों को पदोन्नति देने की प्रक्रिया में न्यायालय के आदेश पर गृह जनपद आए शिक्षकों को शामिल नहीं करने पर आज शिक्षक बीएसए से मिलने पहुँचे। पर, बीएसए के डायट में कार्यशाला से शाम तक वापस नहीं आने आक्रोशित शिक्षकों ने प्रदर्शन किया। इस दौरान बीएसए को दिए ज्ञापन में कहा गया कि वह वर्ष 2018 में न्यायालय के आदेश पर जनपद में आए थे।
न्यायालय ने जनपद में आए इन शिक्षकों की दूसरे जनपद में नियुक्ति तिथि को ही मौलिक नियुक्ति तिथि मानने के आदेश भी दिए। इसके बाद भी इन शिक्षकों को वरिष्ठता सूची में शामिल नहीं किया गया है। इन शिक्षकों ने ज्ञापन देकर बताया कि उनकी प्रथम नियुक्ति तिथि 5 सितम्बर 2018 है और इस हिसाब से उनका नाम वरिष्ठता सूची में शामिल किया जाना चाहिए। वर्ष 2018 में जनपद में आए 80 से अधिक शिक्षक-शिक्षिकाओं को वरिष्ठता सूची vec H शामिल नहीं किया गया है। इस दौरान गीतेश शर्मा, अश्वनी नामदेव, सुनाक्षी, विजय कटियार, कौशलेन्द्र, अंकित साहू, अभिषेक दुबे, हेमेन्द्र पटेल व आकाश आदि शिक्षक उपस्थित रहे।
खण्ड शिक्षा अधिकारियों से माँगी गोपनीय आख्या
पदोन्नति प्रक्रिया के बीच राज्य निदेशालय ने वरिष्ठता सूची में शामिल सभी शिक्षक-शिक्षिकाओं की खण्ड शिक्षा अधिकारियों से 6 वर्ष की गोपनीय आख्या माँगी है। बीएसए नीलम यादव ने सभी खण्ड शिक्षा अधिकारियों को पत्र लिखकर वरिष्ठता सूची में शामिल सभी 1183 शिक्षक-शिक्षिकाओं की गोपनीय आख्या देने को कहा है। जानकारों का कहना है कि गोपनीय आख्या आने में 3 से 6 माह का समय लग सकता है। इससे पदोन्नति प्रक्रिया में देरी हो सकती है।