उपर्युक्त विषयक अपर सचिव, भारत सरकार, शिक्षा मंत्रालय, स्कूल शिक्षा एवं साक्षरता विभाग, नई दिल्ली के अर्द्धशासकीय पत्रांक: 4-1/2023-PMP-1-1 (EE.5) दिनांक 02 फरवरी, 2024 तथा प्रमुख सचिव, चिकित्सा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण, उत्तर प्रदेश के पत्रांक: 44/पाँच-5-2024 दिनांक 19 जनवरी, 2024 (छायाप्रति संलग्न) का संदर्भ ग्रहण करें। उक्त पत्रों के माध्यम से अवगत कराया गया है कि फाइलेरिया (Lymphatic Filariasis) एक परजीवी जन्य संक्रामक रोग है, जो धागे जैसे कृमियों से होता है तथा फाइलेरिया क्यूलेक्स मच्छर के काटने से फैलता है। फाइलेरिया रोग (हाथी पांव) एक लाइलाज बीमारी है। अतः इस बीमारी से बचाव के लिए फाइलेरिया रोधी औषधि का सेवन ही एक मात्र उपाय है। फाइलेरिया प्रभावित जनपदों में रोग के उन्मूलन हेतु एम०डी०ए० (Mass Drug Administration) / आई०डी०ए० (Triple Drug Therapy) अभियान दिनांक 10 फरव फरवरी, 2024 से 28 फरवरी, 2024 तक कराया जाना सुनिश्चित किया गया है।
उक्त के आलोक में कार्यक्रम को सफल बनाने हेतु विद्यालयों में निम्नांकित गतिविधियाँ आयोजित कराई जाएँ:-
- विद्यालयों में एम०डी०ए० /आई०डी०ए० की तिथियों एवं कार्यक्रम के महत्व के बारे में बच्चों को जागरूक करते हुए विद्यालयों में ही फाइलेरिया रोधी औषधि का सेवन कराया जाए।
- यह औषधि मध्यान्ह भोजन ग्रहण करने के उपरान्त बच्चों को खिलाई जाए।
- बच्चों में जागरूकता हेतु निबन्ध प्रतियोगिता एवं पेंटिंग कॉम्पटिशन का आयोजन कराया जाए।
- जनपद के समस्त विद्यालयों में प्रत्येक कक्षा के अभिभावक एवं अध्यापक के व्हाट्सएप ग्रुप में फाइलेरिया से बचाव हेतु वीडियो एवं सन्देश को साझा किया जाए।
अतः अपेक्षित है कि फाइलेरिया उन्मूलन हेतु एम०डी०ए० /आई० डी०ए० कार्यक्रम अभियान के अन्तर्गत विभिन्न गतिविधियों को व्यक्तिगत रूचि लेकर सम्पन्न कराएँ, जिससे जनपद में फाइलेरिया रोग के उन्मूलन के लक्ष्य को प्राप्त किया जा सके।