वाराणसी। फर्जी पुलिस अधिकारी बनकर रिटायर्ड शिक्षिका शम्पा रक्षित से साढ़े तीन करोड़ रुपये की साइबर ठगी में साइबर क्राइम थाने की पुलिस ने छह आरोपियों को गिरफ्तार किया। उनके कब्जे से 13,63,000 नकदी, चेक, डेबिट कार्ड मिले हैं। साथ ही विभिन्न बैंक खातों में 65 लाख रुपये सीज कराए गए हैं। आरोपियों में निजी बैंकों के रीजनल हेड, कैशियर भी शामिल हैं। पुलिस अन्य नकदी की बरामदगी के लिए बैंकों से संपर्क साध रही है। इस मामले में कुछ और गिरफ्तारियां होंगी।
पुलिस उपायुक्त (क्राइम) चंद्रकांत मीना और अपर पुलिस उपायुक्त (क्राइम) टी. सरवणन ने बताया कि आरोपियों में फैजाबाद के कोतवाली थाना क्षेत्र के पुरानी सब्जी मंडी का मूल निवासी सरफराज आलम और नरूलहुदा है। सरफराज आईसीआईसीआई बैंक लखनऊ का रीजनल हेड है और नुरूलहुदा लखनऊ के एचडीएफसी बैंक का कैशियर है। दोनों सगे भाई हैं। वे लखनऊ के चिनहट थाना क्षेत्र के यमुना विहार में अस्थायी तौर पर रहते हैं।
वहीं, अन्य आरोपियों की पहचान बलरामपुर के अतरौला, पिपरा निवासी मो. तौफिक, लखनऊ के इंदिरा नगर निवासी आरिफ अहमद खान, सूरत के उन्नाण, मोटा वराछा थाना क्षेत्र के सत्यम सोसाइटी महोदव चौक के ओम अश्विन भाई गोयानी और मोटा वराछा के श्रीपद रेजिडेंसी निवासी नीरव बटुक भाई गोटी के रूप में हुई है। तौफिक, आरिफ, सरफराज और नुरूलहुदा रिश्तेदार हैं।