प्रतापगढ़, परिषदीय स्कूलों की वार्षिक परीक्षा के बारे में भले ही नौनिहालों को आधी-अधूरी जानकारी हो लेकिन शिक्षकों ने इसे खेल-खेल में ऐसे निपटा दिया कि किसी को पता ही नहीं चला। अभिभावकों को छोड़िए परीक्षा दे रहे छात्रों को भी यह जानकारी नहीं हो सकी कि वह किस विषय की परीक्षा दे रहे हैं।
यह चौंकाने वाला खुलासा वार्षिक परीक्षा के आखिरी दिन आपके अपने अखबार हिन्दुस्तान की पड़ताल में हुआ। इस दौरान कई परिषदीय स्कूल के बच्चे परीक्षा देने के बजाय खेलते मिले, कुछ स्कूल में शिक्षक, शिक्षिकाएं बच्चों की उत्तर पुस्तिका लिखते मिले। बच्चों को परीक्षा की जानकारी ही नहीं: विकास खंड बाबा बेलखरनाथ धाम के प्राथमिक विद्यालय महोखरी में बुधवार को परीक्षा के निर्धारित समय पर बच्चे कमरे में बैठकर रसोइयां के साथ कौड़ी खेलते मिले। बाहर बरामदे में बैठे शिक्षक आपस में गप्पे मारते दिखे। यही नहीं नौनिहालों को पता ही नहीं था कि उनकी परीक्षा भी कराई जानी है।
ब्लैक बोर्ड पर लिख दिए प्रश्नों के उत्तर
विकास खंड बाबागंज के प्राथमिक विद्यालय पुरैली मखदूमपुर और प्राथमिक विद्यालय गुलनार में बुधवार को शिक्षकों ने ब्लैक बोर्ड पर प्रश्न और उसका उत्तर लिख दिया। इसके बाद सभी बच्चों को यही उत्तर पुस्तिका पर उतारने का निर्देश देकर शिक्षक एक जगह बैठकर बात करने लगे। किसी छात्र ने उत्तर लिखा तो किसी ने सादी उत्तर पुस्तिका ही जमा कर दी।
किस विषय की परीक्षा विद्यार्थियों को पता ही नहीं
विकास खंड गौरा के कम्पोजिट विद्यालय कोयम में बुधवार को शिक्षिका कमरे में परीक्षा दे रहे बच्चों की बेंच पर बैठकर उत्तर लिखवा रही थीं। परीक्षा दे रहे कक्षा सात के छात्र को यह नहीं पता था कि वह किस विषय की परीक्षा दे रहा है। यही नहीं परीक्षा कक्ष में महज चंद बच्चे ही उत्तर पुस्तिका लेकर बैठे दिखे।