मुरादाबाद। जिले के सभी सरकारी व निजी विद्यालयों में अध्ययनरत कक्षा एक से 12वीं तक के सभी बच्चों का शैक्षिक ब्याेरा 12 अंकों के अपार में दर्ज होगा। एडी बेसिक के अनुसार विद्यार्थियों का अपार (ऑटोमेटिड परमानेंट एकेडमिक अकाउंट रजिस्ट्री) कार्ड बनाया जाएगा। इस यूनिक आईडी को आधार कार्ड से लिंक किया जाएगा। इसके बन जाने से एक क्लिक पर बच्चों का शैक्षिक रिकार्ड सामने आ जाएगा।

जिले के 504 यूपी बोर्ड, सीबीएसई, आईसीएसई स्कूलों के विद्यार्थियों और लगभग 1404 परिषदीय स्कूलों के विद्यार्थियों को इस आईडी से जोड़ा जाएगा। अधिकारियों का कहना है कि बेसिक व माध्यमिक विद्यालयों में अध्ययनरत छात्रों की शैक्षिक जानकारी के लिए पहले यू-डायस पोर्टल पर 11 अंकों का परमानेंट अकाउंट नंबर जनरेट किया था। इसमें बदलाव करते हुए एक राष्ट्र एक विद्यार्थी परिचय पत्र के तौर पर अब आधार कार्ड की तरह हर विद्यार्थी को अपार कार्ड उपलब्ध कराया जाएगा। इसका इस्तेमाल पूरे देश में किया जा सकेगा। इस कार्ड में सभी छात्र-छात्राओं के लिए 12 अंकों का एक यूनिक नंबर जारी होगा। इसकी सहायता से भविष्य में सभी छात्र-छात्राओं की शैक्षिक प्रगति एवं उपलब्धि की ट्रैकिंग की जा सकेगी।
- बेसिक शिक्षा परिषद से सम्बन्धित ऑनलाइन पोर्टल पर संचालित मॉड्यूल के सम्बन्ध में समीक्षा एवं सुझाव के सम्बन्ध में।
- अंतर्जनपदीय सामान्य ट्रांसफर की आधिकारिक सूची अभी तक जारी नहीं हुई है। जो सूची वायरल हो रही है ,वह आधिकारिक नहीं है अभी , देखें यह सूची
- खण्ड शिक्षा अधिकारियों हेतु 03 दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम के सम्बन्ध में।
- बेसिक शिक्षा परिषद् के अधीन संचालित विद्यालयों में कार्यरत शिक्षक एवं शिक्षिका के अन्तर्जनपदीय पारस्परिक स्थानान्तरण के सम्बन्ध में जनपद बरेली में कार्यरत शिक्षकों की पदोन्नति विषयक सूचना प्रेषण विषयक ।
- शैक्षिक सत्र 2025-26 में निःशुल्क यूनीफॉर्म, स्वेटर, स्कूल बैग, जूता-मोजा तथा स्टेशनरी क्रय से सम्बन्धित धनराशि डी०बी०टी० के माध्यम से सीधे छात्र-छात्राओं के माता/पिता/अभिभावकों के खाते में हस्तांतरित कराये जाने की अद्यावधिक प्रगति तथा अन्य महत्वपूर्ण प्रकरणों के सम्बन्ध में वर्चुअल बैठक।
दसवीं और 12वीं के विद्यार्थी प्राथमिकता में
अधिकारियों का कहना है कि दसवीं और 12वीं के विद्यार्थियों की अपार आईडी बनवाना प्राथमिकता में है। विद्यार्थियों की शैक्षिक योग्यता तथा उनके अंकपत्र आदि का विवरण स्वतः ही अपार आईडी में सुरक्षित हो जाएंगे। इस परिचय पत्र पर क्लिक करते ही पता चल जाएगा कि संबंधित बच्चे ने किस कक्षा में कब प्रवेश लिया है, उसे कितने अंक मिले हैं, शिक्षणेत्तर गतिविधियां क्या रहीं ये सभी विवरण अपार कार्ड के साथ ही डिजिलॉकर में भी सुरक्षित हो जाएगा।
इससे आउट ऑफ स्कूल बच्चों का चिह्नीकरण किया जा सकेगा। ये व्यवस्था प्रति वर्ष ड्रॉपआउट होने वाले बच्चों को पुनः शिक्षा की मुख्यधारा में लाए जाने में सहायक सिद्ध होगा। अपार कार्ड बनाने के लिए सभी विद्यालयों में एक विशेष अभिभावक-शिक्षक बैठक की जाएगी।
बुद्धप्रिय सिंह, एडी बेसिक