लखनऊ : परिषदीय प्राथमिक व उच्च प्राथमिक स्कूलों की छात्राओं को मिशन शक्ति के तहत आत्मरक्षा के लिए प्रशिक्षित किया जा रहा है। वर्ष 2024-25 में कुल 32 लाख बालिकाओं को स्वयं की सुरक्षा के लिए ट्रेनिंग देने के साथ बचाव के लिए कानून और वूमेन हेल्पलाइन नंबर 1090 इत्यादि के बारे में भी जागरूक किया जा रहा है। इस वर्ष अब तक 4.9 लाख छात्राओं को प्रशिक्षित किया जा चुका है।
मिशन शक्ति के पांचवें चरण के तहत बीती तीन अक्टूबर से छात्राओं को प्रशिक्षण का विशेष अभियान चलाया जा रहा है। इन छात्राओं को स्वयं की रक्षा के लिए जूडो कराटे व ताइक्वांडो का प्रशिक्षण दिया जा रहा है।
छात्राओं को बाल विवाह, यौन हिंसा और छेड़खानी से अपना बचाव करने के बारे भी जागरूक किया जा रहा है। विशेषज्ञ उन्हें बाल अधिकारों के बारे में जानकारी दे रहे हैं। अपनी सुरक्षा के लिए वे क्या-क्या उपाय करें और किस तरह मुसीबत से बचें,प्रशिक्षण कार्यक्रमों में उन्हें इसकी जानकारी दी जा रही है। कोई भी ब छात्रा सुरक्षा के कारणों से अपनी ब पढ़ाई न छोड़े, इस पर विशेष जोर म दिया जा रहा है।
- जनपद में ऑडिट के संबंध में , आदेश जारी
- जिले में कार्यरत रसोइयों से एमडीएम से सम्बन्धित कार्य के अतिरिक्त अन्य कार्य न लिए जाने के संबंध में।
- फ्लैट में घुसकर शिक्षिका और उसके पति पर हमला, शिक्षक गिरफ्तार
- निःशुल्क एवं अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार अधिनियम-2009 एवं उत्तर प्रदेश आधनियम-2009 निःशुल्क एवं अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार नियमावली-2011 के के अन्तर्गत प्रदेश के गैर अनुदानित विद्यालयों को छोड़कर समस्त विद्यालयों में प्रबन्ध समिति पुर्नगठन के सम्बन्ध में
- परिषदीय विद्यालयों की 1.25 लाख छात्राएं होंगी वित्तीय साक्षर
बेसिक शिक्षा राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) संदीप सिंह की ओर से निर्देश दिए गए हैं कि सभी स्कूल म अपने यहां पढ़ रहीं बालिकाओं को यह प्रशिक्षण अनिवार्य रूप से स दिलाएं। जिन 32 लाख छात्राओं ने के इस बार ट्रेनिंग के लिए पंजीकरण स कराया है, उन सभी को आत्मरक्षा नि के लिए दक्ष बनाया जाए। पिछले साल 16 लाख छात्राओं को में आत्मरक्षा का प्रशिक्षण दिया गया था। ज इस बार यह लक्ष्य दोगुणा कर दिया गया है।