प्रयागराज। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने कहा कि ‘नया शिक्षा चयन बोर्ड अभी लागू नहीं’ के आधार पर कार्यवाहक को प्रधानाचार्य का वेतन न देने का आदेश हतप्रभ करने वाला है। न्यायालय ने जिला विद्यालय निरीक्षक (डीआईओएस) कन्नौज के आदेश को रद्द कर याची को अभ्यावेदन पर छह सप्ताह में नया आदेश जारी का करने का निर्देश दिया।
- बेसिक शिक्षा परिषद से सम्बन्धित ऑनलाइन पोर्टल पर संचालित मॉड्यूल के सम्बन्ध में समीक्षा एवं सुझाव के सम्बन्ध में।
- अंतर्जनपदीय सामान्य ट्रांसफर की आधिकारिक सूची अभी तक जारी नहीं हुई है। जो सूची वायरल हो रही है ,वह आधिकारिक नहीं है अभी , देखें यह सूची
- खण्ड शिक्षा अधिकारियों हेतु 03 दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम के सम्बन्ध में।
- बेसिक शिक्षा परिषद् के अधीन संचालित विद्यालयों में कार्यरत शिक्षक एवं शिक्षिका के अन्तर्जनपदीय पारस्परिक स्थानान्तरण के सम्बन्ध में जनपद बरेली में कार्यरत शिक्षकों की पदोन्नति विषयक सूचना प्रेषण विषयक ।
- शैक्षिक सत्र 2025-26 में निःशुल्क यूनीफॉर्म, स्वेटर, स्कूल बैग, जूता-मोजा तथा स्टेशनरी क्रय से सम्बन्धित धनराशि डी०बी०टी० के माध्यम से सीधे छात्र-छात्राओं के माता/पिता/अभिभावकों के खाते में हस्तांतरित कराये जाने की अद्यावधिक प्रगति तथा अन्य महत्वपूर्ण प्रकरणों के सम्बन्ध में वर्चुअल बैठक।

यह आदेश न्यायमूर्ति प्रकाश पाडिया ने कार्यकारी प्रधानाचार्य विनोद यादव की याचिका को स्वीकार करते हुए दिया है। याची : ग़दर्श शिक्षा सदन इंटर कॉलेज अलीपुर, सौरिख में वरिष्ठ अध्यापक हैं। प्रधानाचार्य का पद रिक्त होने पर उन्हें कार्यकारी प्रधानाचार्य बनाया था। उन्होंने प्रधानाचार्य का वेतन देने के लिए अर्जी दी। डीआईओएस ने ‘पुराना कानून समाप्त हो गया है, नया कानून प्रभावी नहीं हुआ है’ कहते हुए अर्जी खारिज कर दी थी। व्यूरो