लखनऊ, । हाई स्कूलों में शिक्षकों के पदोन्नति का कोटा फिर से बहाल किया जाएगा। सरकार जल्द ही इस दिशा में कदम उठाने जा रही है। इसके तहत एलटी एवं प्रवक्ता ग्रेड के 50 पदों को पदोन्नति से भरे जाने के नियम लागू किए जाएंगे।
उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा आयोग के गठन के बाद से दोनों संवर्गों में पदोन्नत कोटे से भरे जाने वाले पदों पर पदोन्नति नहीं हो रही है। दोनों संवर्गों में पदोन्नति से भरे जाने वाले 10 हजार से अधिक पद खाली हैं। इससे स्कूलों में नियमित शिक्षण कार्य पर प्रतिकूल असर पड़ रहा है। ऐसे में पूर्व के माध्यमिक शिक्षा सेवा आयोग के नियमों के अनुसार ही फिलहाल पदोन्नति कोटे के पदों को भरने का शासन स्तर पर निर्णय किया गया है। जानकारों की माने तो पूर्व के माध्यमिक शिक्षा सेवा आयोग के अधिनियम तीन की धारा -12 में संयुक्त शिक्षा निदेशक की अध्यक्षता में गठित तीन सदस्यीय समिति के जरिए शिक्षकों की पदोन्नति के लिए चयन का प्रावधान है। इसी अधिनियम की धारा 18-1 के तहत कार्यवाहक संस्था प्रधानाध्यापकों का दो महीने से रिक्त पदों पर वरिष्ठ शिक्षक की तदर्थ आधार पर प्रोन्नत कर अनुमोदन एवं नियमित प्रधानों के समान ही वेतन तक देने के भी नियम हैं।

- छ़ुट्टी खत्म होने के बाद स्कूलों में ज्वाइन, अंतरजनपदीय पारस्परिक तबादले में 120 परिषदीय शिक्षकों ने बनाया जोड़ा
- अन्तर्जनपदीय पारस्परिक स्थानान्तरण प्रकिया 2024-25 के फलस्वरूप अर्ह पाये गये शिक्षक एंव शिक्षिका को परस्पर उनके कार्यरत विद्यालय (School to School) हेतु कार्यमुक्त एंव कार्यभार ग्रहण कराये जाने के सम्बन्ध में।
- 200 से अधिक स्कूलों के शिक्षकों का रोका वेतन, यह थी वजह
- Primary ka master: बेसिक स्कूलों के बच्चे सीखेंगे कोडिंग और एआई
- बेसिक शिक्षा निदेशालय द्वारा नियुक्त शिक्षा मित्रों के मानदेय भुगतान हेतु वित्तीय वर्ष 2025-26 में प्रथम आवंटित किश्त का उपभोग प्रमाण पत्र उपलब्ध कराने के सम्बन्ध में।
शिक्षक लगातार कर रहे थे विरोध
लखनऊ। शिक्षा सेवा आयोग के गठन के बाद से लगभग दो वर्षों से न तो एलटी ग्रेड में और न ही प्रवक्ता ग्रेड में 50 प्रतिशत पदोन्नति कोटे में प्रोन्नतियां हो पा रही हैं और न ही कार्यवाहक संस्था प्रधानों का अनुमोदन एवं वेतन भुगतान संभव हो पा रहा है। परिणामस्वरूप शिक्षा संगठनों से लेकर शिक्षक दल तक इसका लगातार विरोध कर रहे थे। शिक्षक नेता का कहना है कि उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा आयोग के गठन के बाद से ही नियमानुसार, 50 फीसदी पदोन्नत कोटे में पदोन्नतियां नहीं हो पा रही हैं।