लखनऊ। परिषदीय विद्यालयों के शिक्षकों के परस्पर तबादले में कई पेंच हैं। शहरी और ग्रामीण ब्लॉकों के लिए अलग-अलग मकान भत्ता (एचआरए) होने से शिक्षक मुख्यालय से दूर के ब्लॉकों में स्थानांतरण से कतरा रहे हैं। यही वजह है कि दूर के ब्लॉकों में शिक्षकों की संख्या कम है। वहीं, एक बार सुदूर ब्लॉकों में तैनाती पाने वाले शिक्षकों की शहरी क्षेत्रों में वापसी नहीं हो पाती है।
परिषदीय विद्यालयों में शिक्षक लगभग एक साल से जिले के अंदर व एक से दूसरे जिले में परस्पर तबादले का इंतजार कर रहे हैं। शासन ने हाल ही में जिले के अंदर
तबादला प्रक्रिया को लेकर कम नहीं है दिक्कतें
परस्पर तबादले के लिए दिशा- निर्देश जारी किए हैं। हालांकि अभी इसके लिए समय सारिणी नहीं जारी की गई है। शिक्षक एक से दूसरे जिले में परस्पर तबादले के निर्देश का इंतजार कर रहे हैं। शिक्षकों का कहना है कि दूर के ब्लॉक में एचआरए कम होने से मुख्यालय के पास के शिक्षक उनसे म्युचुअल तबादले को नहीं तैयार होते हैं। लखनऊ में ही माल ब्लॉक को छोड़कर अन्य सभी में प्राथमिक शिक्षक का एचआरए 4040 है जबकि माल ब्लॉक के शिक्षकों का एचआरए सिर्फ 1340 रुपये है।
यही नहीं गोरखपुर में कुल 21 ब्लॉक हैं। लगभग 15 ब्लॉक में एचआरए 4040 और अन्य में 1340 है। शिक्षक नेताओं का कहना है कि यही वजह है कि दूर ब्लॉक में एक बार तबादला या तैनाती पाने
वाले शिक्षक मुख्यालय के पास नहीं पहुंच पाते हैं। बेसिक शिक्षा विभाग को इसके लिए कोई रास्ता निकालना होगा नहीं आने वाले समय में यह बड़ी समस्या बनेगी।
10 तक अपडेट होगा डाटा तो कब होंगे तबादले
बेसिक शिक्षा परिषद ने जिले के अंदर परस्पर तबादले के लिए 10 जनवरी तक शिक्षकों का डाटा अपडेट करने का निर्देश बीएसए को दिया है। ऐसे में शिक्षक यह कह रहे हैं कि अगर 10 जनवरी तक डाटा अपडेट होगा तो तबादला प्रक्रिया कब शुरू होगी और कब तक पूरी होगी? क्योंकि जाड़े की छुट्टियां 14 जनवरी तक ही हैं। वहीं शिक्षकों ने जल्द तबादला प्रक्रिया का कार्यक्रम जारी करने की मांग की है।
दूर के ब्लॉक में शिक्षकों को नहीं मिलता लाभः निर्भय
उत्तर प्रदेशीय प्राथमिक शिक्षक संघ के पदाधिकारी निर्भय सिंह कहते हैं कि परस्पर तबादले में दूर के ब्लॉक में तैनात शिक्षकों को कोई लाभ नहीं मिल पा रहा है। जो दूर के ब्लॉक में नियुक्त शिक्षक हैं, वहां कम एचआरए होने से कोई तबादला नहीं लेना चाहता है। इससे दूर के ब्लॉक में शिक्षकों की कमी हो गई है।