नई दिल्ली, आगामी वित्तीय वर्ष 2025-26 के बजट को लेकर वित्त मंत्रालय अलग-अलग स्तर पर लोगों की राय ले रहा है। अभी तक मिले सुझावों के बाद माना जा रहा है कि सरकार का ध्यान देश में मांग और खपत को बढ़ाने पर रहेगा, जिसके लिए सरकार मध्यम वर्ग से आने वाले लोगों को करों से राहत दे सकती है।
विशेषज्ञों ने कहा कि देश में खपत बढ़ाने के लिए लोगों को कई तरह से प्रोत्साहन दिए जा सकते हैं। सबसे सीधा रास्ता है कि सरकार मध्यम वर्ग पर करों का बोझ कम करे। इससे लोगों के पास बचत का दायरा बढ़ेगा। सूत्र बताते हैं कि वित्त मंत्रालय से इस बात की संकेत मिले हैं कि सरकार नई कर व्यवस्था को आकर्षक बनाएगी। 10-12 लाख की सालाना आय वाली श्रेणी में आने वाले नौकरी पेशा व अन्य लोगों पर कर का बोझ कम किया जा सकता है।
आप भी दे सकते हैं राय
आम बजट को लेकर केंद्र सरकार के डिजिटल प्लेटफॉर्म mygov.in पर 10 जनवरी से आप भी अपने सुझाव और राय दे सकते हैं। इसके पीछे सरकार का मकसद है कि लोगों के अच्छे रचनात्मक सुझावों को बजट में शामिल किया जाए।
अन्य मुख्य मांगें, सुझाव
● 80सी के तहत कटौती सीमा बढ़ाने की भी मांग की जा रही है, जिसे सरकार ने बीते करीब 10 वर्षों से नहीं बढ़ाया है। हालांकि इसकी संभावना कम है क्योंकि सरकार न्यू टैक्स रिजीम को प्रोत्साहन देना चाहती है।
● श्रमिक संगठनों ने ईपीएफओ के तहत मिलने वाली पेंशन को पांच गुना तक बढ़ाने और आठवें वेतन आयोग के गठन की मांग को उठाया है।
● मानक कटौती सीमा को 75 हजार रुपये से बढ़ाकर डेढ़ लाख किए जाने की मांग है।