कृषि श्रमिकों और चालकों की नौकरियों में अगले पांच साल में सर्वाधिक बढ़ोतरी होगी। वहीं कैशियर और टिकट क्लर्क की नौकरियों में सबसे ज्यादा गिरावट आएगी। विश्व आर्थिक मंच (डब्ल्यूईएफ) की दावोस में वार्षिक बैठक से पहले जारी रिपोर्ट में ये खुलासा हुआ है।
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नई नौकरियों का सृजन होगा: डब्ल्यूईएफ की फ्यूचर ऑफ जॉब्स रिपोर्ट- 2025 के अनुसार वर्ष 2030 तक 17 करोड़ नौकरियों का सृजन होगा। डब्ल्यूईएफ के काम, मेहनताना और रोजगार सृजन विभाग के प्रमुख टिल लियोपोल्ड का कहना है कि कृषि क्षेत्र में काम करने वाले कामगार, डिलीवरी ड्राइवर और निर्माण श्रमिकों की नौकरियों में सर्वाधिक बढ़ोतरी होगी।
रिपोर्ट के अनुसार तकनीक की दुनिया में हो रहे बदलाव, वैश्विक स्तर पर तनातनी के हालात और आर्थिक दबाव के कारण दुनियाभर में पेशेवरों और उद्योगों की संरचना में बदलाव हो रहा। डब्ल्यूईएफ ने एक हजार कंपनियों के आंकड़ों का विश्लेषण करने के बाद ये दावा किया है। रिपोर्ट के अनुसार नौकरियों में जिस 40 फीसदी कौशल की जरूरत है उसमें भी बदलाव होगा।
तकनीक में खुलेंगे पर्याप्त अवसर : तकनीकी कौशल, कृत्रिम बुद्धिमता (एआई) और डाटा सेंटरों के साथ साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में नौकरियां तेजी से बढ़ेंगी। तकनीक और इंसानों के मेल वाली नौकरियों में तेजी देखने को मिलेगी। जरूरी क्षेत्रों जैसे रखरखाव और शिक्षा के क्षेत्र में वर्ष 2030 तक नौकरियों में सबसे तेजी के साथ बढ़ोतरी होगी।
ये तेजी से कम होंगे
बैंकों में कैशियर और टिकट क्लर्क, प्रशासनिक सहायकों, केयरटेकर, स्टोर कीपर क्लर्क के साथ प्रिंटिंग क्षेत्रों में रोजगार के मौके घटेंगे।
एआई से बढ़ेंगे अवसर
जनरेटिव एआई और उद्योगों में तेजी के चलते श्रम बाजार में भी नौकरियां बढ़ेंगी। एआई के बढ़ते प्रभाव से नई तरह की नौकरियों का सृजन होगा, जिसका लाभ युवा पीढ़ी को मिलेगा।