*ARP केस वर्तमान स्थिति :*
ARP केस का नेतृत्व करके शायद कुछ लोगों ने केस को पूरी तरह से दिशाहीन कर दिया है।
अब सब कुछ श्रीमान प्रमुख सचिव बेसिक शिक्षा के हाथ में है कि वह प्रत्यावेदन निस्तारण में पुनः मौका देंगे कि नहीं देंगे।
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जबकि लखनऊ न्यायाधिकार क्षेत्र से सम्बन्धित जिस जिलों में विज्ञापन नहीं आया था यदि उस जिले का कोई कोर्ट गया तो वहां निस्तारण तक विज्ञापन जारी होने पर रोक लग गई। जबकि जहां विज्ञापन आ गया था उसमें 4 फरवरी को एक मामले में माननीय High Court ने विज्ञापन पर रोक लगाने से इनकार कर दिया। सरकार ने स्वयं कहा कि वह जवाब दाखिल करेगी इसलिए जवाब मांग लिया गया। प्रक्रिया पर रोक न होने के कारण ऐसे जिलों में ARP चयन की प्रक्रिया संपादित की जा सकती है। इस तरह बाकी मामलों में भी जवाब मांगा जा रहा है।
माननीय न्यायालय का ओरल व्यू है कि किसी को नौकरी से तो हटाया नहीं जा रहा है। आखिर लोग स्कूल क्यों नहीं लौटना चाहते हैं। इस तरह से माननीय न्यायालय के ओरल व्यू से अवगत होने के कारण प्रमुख सचिव भी प्रत्यावेदन में राहत देने से इंकार कर सकते हैं।
*Teachers UP*