लखनऊ अमृत विचारः बेसिक शिक्षकों के स्थानांतरण प्रक्रिया को पारदर्शी बनाए रखने के लिए शिक्षा विभाग ने डिजिटल प्रणाली को अपनाया है। आवेदन की जानकारी ऑनलाइन पोर्टल पर उपलब्ध होगी। साथ ही, स्थानांतरण की प्रक्रिया क्यूआर कोड आधारित ट्रैकिंग सिस्टम से जोड़ी जाएगी, जिससे शिक्षकों को अपने आवेदन स्थिति की सही जानकारी मिल सके। शिक्षा विभाग ने स्पष्ट किया है कि इस बार स्थानांतरण प्रक्रिया में कोई अनियमितता न हो, इसके लिए पूरा रिकॉर्ड वीडियो रिकॉर्डिंग और लाइव स्ट्रीमिंग के माध्यम से दर्ज किया जाएगा। यदि
» शिक्षकों के तबादले में पारदर्शिता बनाए रखने के लिए अपनाई डिजिटल प्रणाली
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परस्पर स्थानांतरण की पारदर्शिता को लेकर स्पष्ट निर्देश जारी किए गए है। पूरी प्रक्रिया ऑनलाइन डिजिटल प्रणाली से कराई जा रही है। जिसकी हर चरण पर अधिकारियों द्वारा निगरानी की जाएगी।
– प्रताप सिंह बघेल, सचिव बेसिक शिक्षा
किसी शिक्षक को आवेदन प्रक्रिया में कोई समस्या होती है, तो वह विशेष शिकायत निवारण प्रकोष्ठ के माध्यम से अपनी समस्या का समाधान
प्राप्त कर सकता है।

नई नीति के अनुसार परस्पर स्थानांतरण चाहने वाले शिक्षक
दूसरे जिले में स्थानांतरित शिक्षकों की वरीयता सूची में सबसे नीचे रखे जाएंगे। इससे वरिष्ठता को लेकर कोई विवाद नहीं होगा। विशेष परिस्थितियों में दिव्यांग, विधवा, तलाकशुदा या गंभीर बीमारी से ग्रसित शिक्षकों को वरीयता दी जाएगी।
शिक्षकों के तबादलों के लिए बनाई समितिः शिक्षकों के तबादले के लिए जिला स्तर पर एक समिति गठित की गई है, जिसकी अध्यक्षता सीडीओ (मुख्य विकास अधिकारी) करेंगे। इस समिति में डायट प्राचार्य, वित्त एवं लेखाधिकारी सदस्य के रूप में शामिल होंगे, जबकि बीएसए को सचिव की जिम्मेदारी दी गई है। यह समिति 20 से 25 के बीच बैठक करके अंतिम सूची तैयार करेगी।