प्रयागराज। यूपी बोर्ड वर्ष-2025 की परीक्षा के मूल्यांकन कार्य में गैर हाजिर रहे 261 केंद्रों के 42 हजार परीक्षकों को डीआईओएस के माध्यम से नोटिस जारी कर स्पष्टीकरण मांगा गया है। यूपी बोर्ड ने सभी जिलों के जिला विद्यालय निरीक्षकों के माध्यम से भेजे गए नोटिस में परीक्षकों के अनुपस्थित रहने के कारण साक्ष्य सहित प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए हैं।

साक्ष्य सहित कारण प्रस्तुत करने के बाद उसका परीक्षण किया जाएगा। कारण सच न होने पर कार्रवाई की जाएगी।
बोर्ड ने 261 केंद्रों के 42 हजार परीक्षकों से मांगा स्पष्टीकरण
ऐसे परीक्षक जो राजकीय विद्यालय के हैं उन पर एडी अपर (निदेशक राजकीय) कार्रवाई करेंगे, परीक्षक एडेड विद्यालय का होगा तो प्रबंध तंत्र कार्रवाई करेगा और निजी विद्यालयों के परीक्षकों को मूल्यांकन कार्यों से प्रतिबंधित किया जा सकता है।
मूल्यांकन कार्य 19 मार्च से दो अप्रैल तक प्रदेश के 261 केंद्रों में किया गया था। मूल्यांकन के लिए कुल एक लाख 41 हजार 510 परीक्षकों की ड्यूटी लगाई गई थी, जिनमें से पहले दिन 73 हजार 951 परीक्षक (52.27 फीसदी) उपस्थित रहे। इसमें से राजकीय व एडेड विद्यालयों से परीक्षकों की उपस्थिति 90 फीसदी के आसपास रही। निजी विद्यालयों से नियुक्त किए गए परीक्षकों की गैरहाजिरी ज्यादा रही। पहले दिन ही लगभग 67 हजार 559 परीक्षक गैर हाजिर रहे। वहीं, मूल्यांकन के बाद कुल 42 हजार परीक्षक गैर हाजिर रहे। सभी गैर हाजिर शिक्षकों पर नोटिस के जारी कर दी गई है और इसके बाद कार्रवाई होगी। इस बार कुल तीन करोड़ एक लाख 48 हजार 236 कॉपियों का मूल्यांकन किया जाना था। इनमें हाईस्कूल की एक करोड़ 74 लाख 68 हजार 241 व इंटरमीडिएट की एक करोड़ 26 लाख 79 हजार 995 कॉपियां शामिल थीं। संवाद