प्रयागराज। उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग (यूपीपीएससी) ने सम्मिलित राज्य/प्रवर अधीनस्थ सेवा (मुख्य) परीक्षा-2024 के 259 आवेदन बृहस्पतिवार को निरस्त कर दिए। इनमें सर्वाधिक 138 आवेदन पत्र अभ्यर्थियों द्वारा अंतिम तिथि एक अप्रैल, 2025 तक आयोग कार्यालय में प्रस्तुत न करने के कारण निरस्त किए गए हैं। आयोग ने अनुक्रमांकवार आवेदन निरस्त करने के कारण स्पष्ट किए हैं।
हालांकि, आयोग ने आवेदन निरस्तीकरण के विरुद्ध अपील करने के लिए अभ्यर्थियों को 11 जून तक का समय दिया है। आयोग के अनुसचिव ओंकार नाथ सिंह के अनुसार, अभ्यर्थी अपील से संबंधित प्रत्यावेदन 11 जून को शाम पांच बजे तक डाक के माध्यम से या व्यक्तिगत रूप से उपस्थित होकर आयोग के गेट

तीन पर स्थित डाक अनुभाग के काउंटर/पूछताछ काउंटर पर प्रस्तुत कर सकते हैं।
मुख्य परीक्षा 29 जून से
पीसीएस मुख्य परीक्षा 29 जून से दो जुलाई तक होगी। पीसीएस के 947 पदों पर भर्ती होनी है। आयोग ने पीसीएस-2024 की प्रारंभिक परीक्षा में 15066 अभ्यर्थियों को सफल घोषित किया था। मुख्य परीक्षा प्रयागराज और लखनऊ में दो सत्रों में सुबह नौ से दोपहर 12 बजे और अपराह्न 2:30 से शाम 5:30 बजे तक होगी।
आयोग ने ऑनलाइन दावे के आधार पर प्रारंभिक परीक्षा में केवल उप निबंधक पद के लिए सफल ऐसे 19 उम्मीदवारों के आवेदन निरस्त किए हैं, जो पद की अनिवार्य अर्हता विधि स्नातक धारित नहीं करते या आवेदन की अंतिम तिथि के बाद धारित करते हैं।
वहीं, 18 ऐसे अभ्यर्थियों के आवेदन भी निरस्त हुए हैं, जिन्हें केवल व्यवस्थाधिकारी/व्यवस्थापक, राज्य संपत्ति विभाग के पद के लिए सफल घोषित किय गया था लेकिन उनके पास अनिवार्य शैक्षिक अर्हता नहीं है। इसके अलावा 25 अभ्यर्थियों ने मुख्य परीक्षा का आवेदन पत्र निर्धारित प्रारूप पर उपलब्ध न कराकर केवल अर्हता से संबंधित अभिलेख प्रस्तुत किए। 25 अभ्यर्थियों ने ऑनलाइन आवेदन पत्र में स्वतंत्रता संग्राम सेनानी श्रेणी का दावा किया लेकिन दावे के समर्थन में
प्रमाणपत्र प्रस्तुत नहीं कर सके।
इनमें से कुछ अभ्यर्थियों ने प्रत्यावेदन के माध्यम से स्वतंत्रता संग्राम श्रेणी का माने जाने का अनुरोध भी किया लेकिन श्रेणी परिवर्तन अनुमन्य नहीं है। छह अभ्यर्थियों ने ऑनलाइन आवेदन में दिव्यांग श्रेणी का दावा किया लेकिन अपने दावे के समर्थन में प्रमाणपत्र प्रस्तुत नहीं कर सके।
वहीं, ऑनलाइन जन्म तिथि के दावे और हाईस्कूल के अंकपत्र/प्रमाण में उल्लिखित जन्मतिथि भिन्न पाए जाने पर दो अभ्यर्थियों एवं ऑनलाइन आवेदन में भूतपूर्व सैनिक श्रेणी का दावा करने बावजूद प्रमाणपत्र प्रस्तुत न करने पर चार अभ्यर्थियों के आवेदन निरस्त किए गए हैं।
आवेदन निरस्त होने के अन्य कारण
यूपी का मूल निवासी लेकिन अनुसूचित जाति का प्रमाणपत्र बिहार से बनवाया।
दिव्यांग अभ्यर्थी का मूल निवास से संबंधित कोई प्रमाणपत्र नहीं, यूपी की जगह मध्य प्रदेश से बना प्रमाणपत्र किया प्रस्तुत।
ऑनलाइन आवेदन में किए गए ईडब्ल्यूएस श्रेणी का दावा लेकिन प्रमाणपत्र प्रस्तुत नहीं किया।