● बीएसए कार्यालय में कार्यरत एक वरिष्ठ सहायक पर आरोप लगाया था●
● महानिदेशक स्कूल शिक्षा के पत्र पर एडी बेसिक ने बीएसए से मांगी आख्या, सुनवाई 25 को
मामले की जांच कराई जा रही है। जांच के बाद एडी बेसिक को रिपोर्ट सौंपी जाएगी। अगर पत्रावली को लंबित रखने में कार्यालय स्तर पर लापरवाही की पुष्टि होगी तो संबंधित के खिलाफ कार्रवाई की संस्तुति की जाएगी।
-श्रवण कुमार गुप्ता, बीएसए
छह माह से तीन साल के वेतन की पत्रावली लंबित
महानिदेशक स्कूल शिक्षा को भेजे गए पत्र के मुताबिक अकेले सदर ब्लाक के राबिया खातून, नगीना खरवार, प्रियंका आर्य, सत्यनारायण साहनी, उस्मान गनी निजामी आदि शिक्षकों का चयन वेतनमान की पत्रावली 3 वर्ष से लेकर 6 माह के बीच से लंबित है। इससे परेशान शिक्षकों ने संघ को अपनी समस्या बताई। इसके बाद शिक्षक संघ ने महानिदेशक को पत्र भेजा।
शिक्षकों के चयन वेतनमान तथा दिव्यांग वाहन भत्ता की पत्रावली पटल सहायक की लापरवाही और शोषण की मंशा से दो वर्ष से बीएसए कार्यालय में लंबित है। बार-बार ज्ञापन देने और पत्रक देने के बाद भी कोई कार्यवाही नहीं की गई। इससे बाध्य होकर संगठन को महानिदेशक को पत्र लिखना पड़ा। -सत्येंद्र कुमार मिश्र,जिलामंत्री प्राशिसं
महराजगंज, । परिषदीय विद्यालयों में कार्यरत शिक्षकों के चयन वेतनमान, दिव्यांग भत्ता, प्रोन्नत वेतनमान आदि पत्रावली को वर्षों से लंबित रखने व डिमांड करने की शिकायत पर महानिदेशक स्कूल शिक्षा ने एडी बेसिक गोरखपुर को जांच का आदेश दिया है। प्रकरण में एडी बेसिक ने बीएसए को पत्र भेज शिकायत के क्रम में स्पष्ट आख्या के साथ 25 जुलाई को उपस्थित होने को कहा है। पटल सहायक को भी तलब किया गया है।
उत्तर प्रदेशीय प्राथमिक शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष केशव मणि त्रिपाठी व जिला मंत्री सत्येन्द्र कुमार ने बीते बीस जून को महानिदेशक को पत्र भेज शिकायत की थी। बीएसए कार्यालय में कार्यरत एक वरिष्ठ सहायक पर आरोप लगाया था। महानिदेशक ने एडी बेसिक को पत्र भेज जांच कर शिकायत का निस्तारण करने का निर्देश दिया है।
आवेदन के बाद भी नहीं मिला दिव्यांग वाहन भत्ता वर्ष 2021 में 69 हजार भर्ती में नियुक्त दिव्यांग शिक्षकों ने दिव्यांग वाहन भत्ता के लिए वर्ष 2022 में आवेदन किया, लेकिन आरोप है कि पटल सहायक की लापरवाही से भी दिव्यांग वाहन भत्ता का आदेश नहीं जारी नहीं हो पाया है। दिव्यांग वाहन भत्ता सहायक अध्यापक को 800 रुपये प्रतिमाह व प्रधानाध्यापक को 1000 रुपये प्रतिमाह देय है। भत्ता स्वीकृत नहीं होने से दिव्यांग शिक्षकों को 10 से 12 हजार रुपये सालाना नुकसान है। जनपद के कुल 27 दिव्यांग शिक्षकों का आवेदन बीएसए कार्यालय में लंबित हैं, जिसमें सर्वाधिक 18 सदर ब्लॉक से, 5 फरेंदा ब्लॉक से, 2 मिठौरा से व एक-एक लक्ष्मीपुर और परतावल ब्लॉक से है।