नई दिल्ली। काउंसिल फॉर द इंडियन स्कूल सर्टिफिकेट एग्जामिनेशन (सीआईएससीई) ने इस वर्ष से 10वीं (आईसीएसई) व 12वीं (आईएससी) दोनों कक्षाओं में कंपार्टमेंट परीक्षाएं नहीं करने का फैसला किया है।
इसके बदले जो छात्र इसी वर्ष परीक्षा में अपने अंक-ग्रेड में सुधार करना चाहते हैं, वे अधिकतम दो विषयों में सुधार परीक्षा दे सकते हैं। परीक्षा जुलाई में होगी। परीक्षा का विवरण शीघ्र ही वेवसाइट https://cisce.org पर अपलोड
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दसवीं में पश्चिम क्षेत्र सबसे बेहतर : सीआईएससीई के मुख्य कार्यकारी व व सचिव जोसेफ एमेनुअल के मुताबिक, इस साल दसवों में पश्चिम क्षेत्र का रिजल्ट सबसे बेहतर रहा। यहां से 99.91 फीसदी छात्र सफल रहे। वहीं दक्षिण क्षेत्र का परिणाम 99.88 फीसदी, उत्तरी का 99.31 व पूर्वी का 99.24 फीसदी रहा। बारहवीं में दक्षिण क्षेत्र का रिजल्ट सबसे अच्छा रहा। यहां पास प्रतिशत 99.53 फीसदी है। पश्चिमी क्षेत्र का रिजल्ट 99.32 फीसदी रहा है।
60 विषयों की परीक्षाएं इस
साल आईसीएसई में 60 विषयों की परीक्षाएं हुई, जिनमें एक शास्त्रीय भाषा, 20 क्षेत्रीय भाषाएं व 13 विदेशी भाषाएं हैं। आईएससी में 47 विषयों की परीक्षाएं हुई, जिनमें 12 क्षेत्रीय, 4 विदेशी और दो शास्त्रीय
भाषाएं शामिल हैं। दिव्यांग छात्रों का भी बेहतर
प्रदर्शन दसवीं व बारहवीं दोनों कक्षाओं में दिव्यांग छात्रों का प्रदर्शन अच्छा रहा है। दसवीं में सीखने में कठिनाई वाले 1088 छात्रों में से 98 छात्रों ने 90 फीसदी से अधिक अंक प्राप्त किए हैं। दृष्टिबाधित 40 छात्रों में 12 ने 90 फीसदी से अधिक अंक
हासिल किए हैं। वहीं बारहवीं में सीखने में कठिनाई वाले कुल 236 छात्रों में से 18 ने 90 फीसदी से अधिक अंक व दृष्टिबाधित 12 छात्रों में से दो ने 90 फीसदी से
अधिक अंक हासिल किए हैं। इंडोनेशिया, सिंगापुर व दुबई
के स्कूलों का 100 फीसदी रिजल्ट सीआईएससीई की दसवीं कक्षा के रिजल्ट में इंडोनेशिया, सिंगापुर व दुबई के स्कूलों का रिजल्ट 100 फीसदी रहा है। जबकि बारहवीं में 100 फीसदी रिजल्ट प्राप्त करने वाले सिंगापुर व दुबई के स्कूल रहे हैं।