रायबरेली। फर्जी नियुक्ति पत्र तैयारकर पांच लोग न सिर्फ चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी बने बल्कि वेतन की मांग भी करने लगे। वेतन के लिए कोर्ट भी पहुंच गए। कोर्ट के आदेश पर डीआईओएस ने जांच की तो पता लगा कि पांचों के पास उपलब्ध नियुक्ति पत्र फर्जी हैं। फर्जीवाड़ा में शामिल लोग रायबरेली, अमेठी और प्रतापगढ़ के रहने वाले हैं।
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मामले में प्रधानाचार्य की तहरीर पर आरोपियों के खिलाफ हरचंदपुर थाने में फर्जी दस्तावेज के जरिये नौकरी हथियाने का केस दर्ज कर लिया गया। आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए दो पुलिस टीमें गठित की गई हैं।
जनपद इंटर कॉलेज हरचंदपुर के प्रधानाचार्य के मुताबिक साल 2019 में हरचंदपुर थाना क्षेत्र के फरीदपुर गांव निवासी आदर्श प्रताप सिंह, कठवारा गुल्लूपुर गांव निवासी सुनील कुमार, भदोखर थाना क्षेत्र के जगदीशपुर पोस्ट भुएमऊ निवासी हौसिला प्रसाद, अमेठी जिले के विसैया सलोन रेवली निवासी अनुराग सिंह, प्रतापगढ़ जिले के डांडी खास पोस्ट सगरा सुंदरपुर निवासी अशोक कुमार प्रजापति ने खुद को कॉलेज में चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी पद पर तैनात होने का दावा ठोका था। साथ ही वेतन की मांग भी की थी। वेतन न दिए जाने पर उच्च न्यायालय की खंडपीठ लखनऊ में याचिका दायर की। उच्च न्यायालय के आदेश पर डीआईओएस संजीव कुमार सिंह ने सत्यता की जांच की। जांच के दौरान सभी को अपना पक्ष रखने के अवसर दिए गए। जांच में पता चला कि इन लोगों की नियुक्तियां फर्जी थीं। उनके पास उपलब्ध दस्तावेज भी फर्जी हैं। प्रधानाचार्य की तहरीर पर पांच लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है। हालांकि एफआईआर में प्रधानाचार्य का नाम नहीं खोला गया है। थाने में तैनात उपनिरीक्षक चक्रधन पांडेय को प्रकरण की विवेचना सौंपी गई है। आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए हरचंदपुर थाना प्रभारी आदर्श कुमार सिंह और विवेचक की अगुवाई में दो पुलिस टीमें गठित की गई हैं। (संवाद)