ऊंचागांव। पिछले दिनों कोरोना संक्रमण के बीच स्कूल बंद रहे। अब स्कूल खुल गए तो शिक्षक अपनी मनमानी कर रहे हैं। क्षेत्र के गांव गजरौला स्थित प्राथमिक विद्यालय को मंगलवार को पड़ताल की गई तो शिक्षकों की मनमानी की पोल खुलकर सामने आ गई। यहां पर दो शिक्षक और चार शिक्षामित्र तैनात है, लेकिन एक ही शिक्षामित्र स्कूल में मिला। क्लास में बच्चे एक-दूसरे को पढ़ाते हुए मिले।
गांव गजरौला के ग्रामीणों पिछले काफी दिनों से शिकायत कर रहे थे कि प्राथमिक विद्यालय में शिक्षक नहीं आते हैं।
उनकी मनमानी के कारण बच्चों की पढ़ाई लगातार प्रभावित हो रही है। पिछले करीब दो साल से अधिक समय तक स्कूल बंद रहे और अब स्कूल खुल गए तो शिक्षक बच्चों को पढ़ाने में रुचि नहीं ले रहे हैं। विद्यालय में 138 बच्चे पंजीकृत है जिनकी पढ़ाई का जिम्मा एक अध्यापक, एक अध्यापिका और चार शिक्षा मित्र के हाथों में है। मंगलवार सुबह करीब दस बजे जब पड़ताल की गई तो स्कूल में एक शिक्षामित्र गिरीश कुमार उपस्थित मिले। जबकि अन्य शिक्षक और शिक्षामित्र स्कूल में नहीं थे। इस विषय में मौजूद शिक्षामित्र कोई संतोषजनक जवाब नहीं दे सके। ग्रामीणों ने बताया कि शिक्षा विभाग की मनमानी के चलते स्कूल में शिक्षक में आए दिन नदारद रहते हैं। अधिकारियों को सांठगांठ के चलते अधिकांश अध्यापक बीआरसी पर घूमते नजर आते हैं। शिक्षकों की गैर मौजूदगी में छात्र ही एक-दूसरे को पढ़ा रहे है।