भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार लिये गए निर्णय के अनुसार विधानसभा सामान्य निर्वाचन-2022 हेतु मतदाता फोटो पहचान पत्र के विकल्प के संबंध में प्रतिरूपण को रोकने की दृष्टि से मतदान के समय मतदाता को अपनी पहचान सिद्ध कराने के लिए अपना मतदाता फोटो पहचान पत्र प्रस्तुत करना होगा, परंतु ऐसे मतदाता जो अपना मतदाता फोटो पहचान पत्र प्रस्तुत नहीं कर पाते हैं उन्हें अपनी पहचान स्थापित कराने के लिए निम्नलिखित वैकल्पिक फोटो पहचान दस्तावेजों में से कोई एक प्रस्तुत करना होगा।
जैसे- आधार कार्ड, मनरेगा जाब कार्ड, बैकों/डाकघरों द्वारा जारी की गयी फोटोयुक्त पासबुक, श्रम मंत्रालय की योजना के अन्तर्गत जारी स्वास्थ्य बीमा स्मार्ट कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, पैेन कार्ड, एनपीआर के अन्तर्गत आरजीआई जारी किये गये स्मार्ट कार्ड, भारतीय पासपोर्ट, फोटोयुक्त पेंशन दस्तावेज, केन्द्र/राज्य सरकार/लोक उपक्रम/पब्लिक लिमिटेड कम्पनियों द्वारा अपने कर्मचारियों को जारी किये गये फोटोयुक्त सेवा पहचान पत्र, सांसदो/विधायकों/विधान परिषद् सदस्यों को जारी किये गये सरकारी पहचान पत्र और यूनिक डिसएबिलिटी आईडी (यूडीआईडी) कार्ड सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय भारत सरकार द्वारा जारी किया गया पहचान पत्र प्रस्तुत करना होगा।
एपिक के संबंध में लेखन अशुद्धि, वर्तनी की अशुद्धि इत्यादि को नजर अंदाज कर देना चाहिए, बशर्ते निर्वाचन की पहचान EPIC से सुनिश्चित की जा सके। यदि कोई निर्वाचक फोटो पहचान पत्र प्रदर्शित करता है, जो कि किसी अन्य से विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र के निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी द्वारा जारी किया गया है, ऐसे एपिक भी पहचान स्थापित करने हेतु स्वीकृत किए जाएंगे, बशर्ते उस निर्वाचन का नाम, जहां वह मतदान करने आया है, उस मतदान केंद्र से संबंधित निर्वाचक नामावली में उपलब्ध हो।
फोटोग्राफ इत्यादि के बेमेल होने के कारण निर्वाचक ही पहचान पर सुनिश्चित करना संभव न हो तब निर्वाचक को उपरोक्त वैकल्पिक फोटो दस्तावेज को प्रस्तुत करना होगा।
उपरोक्त किसी भी बात के होते हुए भी प्रवासी निर्वाचकों को जो अपने पासपोर्ट के वितरणों के आधार पर लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 की धारा 20क अधीन निर्वाचक नामावलियों में पंजीकृत हैं, उन्हें मतदान केंद्र में उनके केवल मूल पासपोर्ट (तथा कोई अन्य पहचान पत्र दस्तावेज नहीं) के आधार पर ही पहचाना जाएगा।