चहेते को रखने के लिए सफल को फेल करने की जांच होगी
प्रयागराज, । इलाहाबाद हाईकोर्ट ने चहेते की नियुक्ति के लिए सफल अभ्यर्थी को मिले क्वालिटी प्वाइंट अंक को टाइपिंग गलती मानकर नियुक्ति से इनकार करने के मामले की जांच का निर्देश दिया है। कोर्ट ने माध्यमिक शिक्षा निदेशक को छह सप्ताह में जांच रिपोर्ट पेश करने का निर्देश दिया है। कोर्ट में डीआईओएस जौनपुर की ओर से पेश अधूरी मूल पत्रावली वापस करते हुए छायाप्रति ़फाइल में रखने को कहा है और डीआईओएस राजकुमार पंडित को 27 जुलाई को मूल पत्रावली के साथ फिर हाजिर होने का निर्देश दिया है।
यह आदेश न्यायमूर्ति मंजू रानी चौहान ने अजय कुमार पांडेय की याचिका पर दिया है। कोर्ट ने जिला विद्यालय निरीक्षक जौनपुर राजकुमार पंडित व श्रीराम जानकी संस्कृत महाविद्यालय तियरा, बदलापुर के प्रबंधक त्रिलोकी नाथ मिश्र को पक्षकार बनाते हुए तलब किया था। डीआईओएस पत्रावली के साथ उपस्थित हुए और कहा कि याची को 100.166 अंक मिले हैं। लिपिकीय गलती से 111.000 अंक दर्ज हो गए इसलिए याची को नियुक्ति देने से इनकार किया गया है। जबकि याची का कहना है कि डीआईओएस रंजीत दुबे की नियुक्ति करना चाहते हैं। इसलिए याची के साथ गड़बड़ी की गई है।कोर्ट ने डीआईओएस से पूछा कि चयन प्रक्रिया की पूरी पत्रावली क्यों नहीं लाए तो कोई जवाब नहीं दिया। प्रबंधक हाजिर नहीं हुए। कोर्ट ने पाया कि पत्रावली में छेड़छाड़ की गई है। ओवर राइटिंग की गई है, जिसकी निष्पक्ष जांच जरूरी है।