लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एलान किया है कि पीएसी के 10,584 पदों पर सीधी भर्ती की प्रक्रिया जल्द शुरू होगी। उन्होंने पीएसी में पदोन्नति विसंगतियां भी जल्द दूर करने का आश्वासन दिया। कहा कि इसके लिए गृह विभाग को निर्देश दिया जा चुका है।
सीएम योगी रविवार को पीएसी के 76वें संस्थापना दिवस समारोह को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि देश में कहीं भी उपद्रव या चुनाव हो तो पीएसी को याद किया जता है। देश की आजादी और पं उम्मी के स्थापना दिवस का शताब्दी वर्ष एक साथ मनाया जाएगा। इसके लिए तैयारियां शुरू कर दी जाएं। उन्होंने कहा कि धार्मिक, सार्वजनिक कार्यक्रमों, विशिष्ट महानुभावों की सुरक्षा, यातायात, यूपी 112, एसटीएफ, एटीएस व एसडीआरएफ में पीएसी चल उल्लेखनीय कार्य कर रहा है। 2001 में संसद पर हमला हो या राम जन्मभूमि पर आतंकी हमला,
योगी ने कहा कि पहले की सरकारों में पीएसी को लेकर संकीर्ग सोच थी। उन्होंने 46 कंपनियों को समाप्त कर दिय, जिनको हमने पुनर्जीवित किया। वर्तमान में पीएस्से को 35 वाहिनियों में 273 कंपनियां क्रियाशील है।
पीएसी के जवानों ने शौर्य का प्रदर्शन करते हुए हमलावरों को ढेर किया।
पीएसी व नागरिक पुलिस में आरक्षियों की सीधी भर्ती एकसाथ में होती है, लेकिन पदोन्नति में अंतर है। पीएसी के 2004 बैच के आरक्षियों को मुख्य आरक्षी के पद पर प्रोन्नत किया जा सका है, जबकि ये विरुद्यादियों नारिक पुलिस में 2011 बैच के आरक्षी वर्तमान में मुख्य आरक्षी है। पीएसी में 2008 चैच के मुख्य आरक्षी उपनिरीक्षक बने हैं, जबकि नागरिक पुलिस में 2018 बैच के। पीएसी के 2012 बैच के उपनिरीक्षक से निरीक्षक बने हैं, जबकि नागरिक पुलिस के 2013 बैच के। बेचिनेट से विसंगतियों को दूर किया जा सकता है।