, जागरण, प्रयागराज : बीएड विवाद के कारण उत्तर प्रदेश शिक्षक पात्रता परीक्षा (यूपीटीईटी)-2021 की प्राइमरी के अंकपत्र वितरण करने पर लगी रोक हाई कोर्ट से हट जाने के बाद अब अगले सप्ताह जारी की जाएगी। इस तरह करीब 23 महीने बाद अंकपत्र जारी किए जाएंगे। इसके लिए उत्तर प्रदेश परीक्षा नियामक प्राधिकारी सचिव अनिल भूषण चतुर्वेदी ने तैयारी शुरू कर दी है। जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान (डायट) से अंकपत्र दिए जाएंगे।
यूपीटीईटी-2021 की परीक्षा 23 जनवरी 2022 को प्रदेश के सभी जिलों में कराई गई। इसका परीक्षाफल आठ अप्रैल 2022 को घोषित किया गया। प्राइमरी टीईटी के लिए 11,42,090 अभ्यर्थियों में से 4,43,558 सफल घोषित किए गए। इसी तरह जूनियर टीईटी में 7,65,925 परीक्षार्थियों में से 2,16,994 परीक्षार्थी सफल घोषित
हुए। प्राइमरी टीईटी में बीएड अभ्यर्थी भी सम्मिलित हुए थे, जिनका विरोध करते हुए प्रतीक मिश्रा ने हाई कोर्ट में याचिका लगाई। कोर्ट ने याचिका स्वीकार कर प्राइमरी टीईटी के अंकपत्र वितरण पर 22 मई 2022 को रोक लगा दी थी। इसके बाद से प्राइमरी टीईटी के अभ्यर्थी अंकपत्र की प्रतीक्षा कर रहे हैं। अब प्राइमरी अंकपत्र वितरण पर लगी रोक कोर्ट से हटा दिए जाने के बाद इसके वितरण का रास्ता साफ हो गया है। पीएनपी सचिव ने बताया कि जूनियर टीईटी के अंकपत्र दिए जा चुके हैं। प्राइमरी टीईटी के अंकपत्र वितरण से रोक हट जाने के बाद अगले सप्ताह से अभ्यर्थियों को प्रदान किए जाएंगे। उधर, सुप्रीम कोर्ट 11 अगस्त 2023 को देवेश शर्मा मामले में निर्णय दे चुकी है कि प्राथमिक शिक्षक पद पर भर्ती के लिए बीएड डिग्री धारक योग्य नहीं हैं। बीटीसी और डीएलएड ही इसके योग्य हैं।