हरदोई। लोकायुक्त और न्यायालय में चल रहे प्रकरणों की दो महत्वपूर्ण मूल पत्रावलियां बेसिक शिक्षा विभाग से गायब होने का मामला सामने आया है।
जनपद में जिला समन्वयक प्रशिक्षण के साथ ही कई अन्य पदों की जिम्मेदारी संभाल चुके शख्स के खिलाफ विभाग ने एफआईआर कराने की तैयारी कर ली है।
संबंधित शख्स पर जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी की अनुमति के बिना ही चार लाख रुपये से अधिक की प्रचार सामग्री खरीदने का आरोप भी है। जिलाधिकारी के सख्त रुख से महकमे में खलबली मची हुई है। लखीमपुर खीरी के मितौली विकास खंड अंतर्गत प्राथमिक विद्यालय मदरिया के सहायक अध्यापक राकेश शुक्ला को प्रतिनियुक्ति पर हरदोई जनपद में बेसिक शिक्षा विभाग के अधीन
जिला समन्वयक प्रशिक्षण के पद
पर तैनात किया गया था। बाद में उन्हें जिला समन्वयक बालिका शिक्षा, सामुदायिक शिक्षा का भी अतिरिक्त प्रभार सौंप दिया गया था। राकेश शुक्ला की कार्यशैली को लेकर लगातार सवाल उठ रहे थे। इस कारण डीएम एमपी सिंह के निर्देश पर जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी विजय प्रताप सिंह ने फरवरी में उनसे बालिका शिक्षा और सामुदायिक शिक्षा के जिला समन्वयक का प्रभार वापस ले लिया था।
बालिका शिक्षा का प्रभार जिला समन्वयक निर्माण ब्रज भूषण मिश्रा को और सामुदायिक शिक्षा का प्रभार
जिला समन्वयक राहुल दुबे को दिया गया था। इसके बाद भी वह संबंधित लोगों को चार्ज नहीं सौंप रहे थे।
इसी बीच बीएसए को पता चला कि बालिका शिक्षा से जुड़ी दो महत्वपूर्ण पत्रावलियां भी गायब हैं। इनमें एक मामला लोकायुक्त में चल रहा है, जिसकी वादी श्वेता गुप्ता हैं, जबकि दूसरा मामला न्यायालय में है, जिसकी वादी मंजूलता हैं।
इसके अलावा सामुदायिक शिक्षा के जिला समन्वयक रहने के दौरान राकेश शुक्ला ने नवभारत साक्षरता मिशन के तहत चार लाख रुपये से
अधिक की खरीद में अनियमितता का मामला भी सामने आया है। टेंडर प्रक्रिया की जगह बीएसए को बताए बिना ही वर्क ऑर्डर से प्रचार-प्रसार की सामग्री खरीद ली थी।
जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी विजय प्रताप सिंह ने बताया कि मूल पत्रावलियां गायब होने और वित्तीय अनियमितता के आरोप में तहरीर पुलिस को दी गई थी। कुछ तकनीकी समस्या के कारण एफआईआर दर्ज नहीं हो पाई है। अगले दो दिन में आवश्यक कार्रवाई पूरी कर एफआईआर दर्ज कराई जाएगी।
इस प्रभार के अभिलेख भी नहीं दे रहे राकेश
परियोजना निदेशक कंचन वर्मा ने 18 जून को राकेश शुक्ला को मूल पद पर लखीमपुर भेजे जाने का आदेश जारी किया था। इसके लिए चार्ज सौंपने के निर्देश राकेश शुक्ला को बीएसए ने दिए थे। दो नोटिस भी भेजी गईं, लेकिन वह चार्ज देने नहीं आए और मेडिकल पर चले गए।