आजमगढ़, । जिले में 45 परिषदीय विद्यालयों के जर्जर भवनों को ध्वस्तीकरण के बाद नये भवन बनाने की आवश्यकता है। शासन के निर्देश पर वर्ष 2024-25 में बेसिक शिक्षा विभाग की तरफ से इन स्कूलों में नये भवन के निर्माण के लिए प्रति भवन 13.81 लाख रुपये की दर से आगणन रिपोर्ट बना कर शासन को भेजा गया था। शासन स्तर से अभी तक धनराशि न मिलने से नए भवन का निर्माण अधर में पड़ा है।
जिले में 2703 परिषदीय विद्यालय है। इनमें कई विद्यालय परिसर में बने पुराने भवन जर्जर होकर दुघर्टना को दावत दे रहा है। शिक्षकों और बच्चों में हमेशा दुघर्टना की आंशका बनी रहती है। जिसकी शिकायत पर प्रशासन के निर्देश पर जर्जर भवनों को चिहिंत कर ध्वस्तीकरण की कार्रवाई की जा रही है। तीन सदस्यीय तकनीकी समिति के रिपोर्ट पर इनमें अधिकांश स्कूलों के जर्जर भवनों का ध्वस्तीकण कराया चुका है। पूर्व में गिराये गए परिषदीय स्कूलों के जर्जर भवनों की जगह नये भवन बनाये जाने हैं। इसी क्रम में वर्ष 2024-25 के लिए 45 परिषदीय विद्यालयों में नवीन भवन बनाने के लिए बेसिक शिक्षा विभाग की तरफ से आगणन रिपोर्ट तैयार कर धनराशि के लिए शासन को भेजी गई है। वित्तीय वर्ष बीत गया, लेकिन नए भवन के निर्माण के लिए शासन से अभी तक धनराशि अवमुक्त नहीं हो पाई । जिससे नए भवन का निर्माण खटाई में पड़ गया है।
65 स्कूलों में जर्जर भवन को गिराकर बनाए गए नए भवन
पहले फेज के सर्वे में 434 परिषदीय स्कूलों का सर्वे कराये गए थे। इनमें 65 भवन मरम्मत के लायक नहीं पाया गया था। वहीं 369 भवन ढहाये जाने के योग्य पाये गए थे। इन भवनों का ध्वस्तीकरण की कार्रवाई पूरी हो चुकी है। इनमें 65 स्कूलों में नये भवन का निर्माण कार्य चल रहा है।
33 स्कूलों में होगा अतिरिक्त कक्ष का निर्माण
जिले के 33 परिषदीय स्कूलों में छात्र संख्या अधिक है। जिससे बच्चों के पठन पाठन को लेकर प्रधानाध्यापक परेशान रहते हैं। इसे लेकर वर्ष 2024-25 के वार्षिक कार्य एवं बजट के लिए प्रस्तावित किया गया था। प्रति अतिरिक्त कक्ष के निर्माण के लिए करीब नौ लाख रुपये की धनराशि प्रस्तावित किया गया है। लेकिन शासन से धनराशि नहीं मिली है। विभाग दोबारा प्रस्ताव भेजने की तैयारी में है।
45 परिषदीय स्कूलों में नवीन भवन एवं 33 अतिरिक्त कक्ष के निर्माण के लिए शासन को प्रस्ताव बनाकर भेजा गया था। शासन से धनराशि नहीं मिली। दोबारा आगणन रिपोर्ट शासन को भेजी जायेगी। शासन से धनराशि उपलब्ध होते ही निर्माण का कार्य शुरू कराया जायेगा।
अनिल कुमार सिंह, जिला समंवयक निर्माण