बीदर (कर्नाटक)। कर्नाटक के बीदर जिले में परीक्षा के दौरान जनेऊ उतरवाने को लेकर हुए विवाद में सरकार ने साईं स्फूर्ति पीयू कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. चंद्र शेखर बिरादर और परीक्षा ड्यूटी में मौजूद स्टाफ सतीश पवार को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है।
17 अप्रैल को कॉमन एलिजिबिलिटी

- बेसिक शिक्षा परिषद् के नियंत्रणधीन प्राथमिक एवं उच्च प्राथमिक में कार्यरत शिक्षकों के पारस्परिक अंतर्जनपदीय स्थानांतरण के फलस्वरूप पदोन्नति के सूचना के संबंध में
- अन्तर्जनपदीय पारस्परिक स्थानान्तरित शिक्षको को कार्यमुक्त किये जाने के सम्बन्ध में।
- शैक्षिक सत्र 2025-26 में निःशुल्क यूनीफॉर्म, स्वेटर, स्कूल बैग, जूता-मोजा तथा स्टेशनरी क्रय से सम्बन्धित धनराशि डी०बी०टी० के माध्यम से सीधे छात्र-छात्राओं के माता/पिता/अभिभावकों के खाते में हस्तांतरित कराये जाने के सम्बन्ध में।
- अन्तर्जनपदीय पारस्परिक स्थानान्तरण प्रक्रिया 2024-25 के फलस्वरूप अर्ह पाये गये शिक्षक एवं शिक्षिका को परस्पर उनके कार्यरत विद्यालय हेतु कार्यमुक्त एवं कार्यभार ग्रहण कराए जाने हेतु
- परिषद कार्यालय से मागे गये मार्गदर्शन के सम्बन्ध में निर्धारित प्रारुप पर सूचना उपलब्ध कराये जाने विषयक।
टेस्ट (सीईटी) देने पहुंचे छात्र सुचिव्रत कुलकर्णी ने आरोप लगाया कि परीक्षा केंद्र पर मौजूद स्टाफ ने उससे कहा कि अगर वह जनेऊ नहीं हटाता है तो उसे परीक्षा देने की अनुमति नहीं दी जाएगी। छात्र ने धार्मिक आस्था से जुड़ा बताकर जनेऊ हटाने से इन्कार कर दिया। उसे परीक्षा कक्ष में प्रवेश नहीं दिया गया। छात्र की मां नीता कुलकर्णी ने कड़ी नाराजगी जाहिर की और इसे धार्मिक स्वतंत्रता का उल्लंघन बताया। उन्होंने कहा कि बेटे की धार्मिक मान्यताओं का सम्मान नहीं किया गया और बिना किसी वैध कारण के उसे परीक्षा से वंचित कर दिया गया। उन्होंने सरकार से मांग की कि या तो उनके बेटे के लिए दोबारा परीक्षा आयोजित की
जाए या फिर उसे किसी प्रतिष्ठित कॉलेज में दाखिला दिलाया जाए, जिसकी फीस सरकार या संबंधित कॉलेज वहन करें।