■ रोजगार का संकट
● 2018 में 11.70 और 2019 में 10.83 लाख ने भरा था फॉर्म
● आजीवन मान्य होने के बाद संख्या घटने का था अनुमान
उत्तर प्रदेश शिक्षक पात्रता परीक्षा (यूपी-टीईटी) के प्रमाणपत्र आजीवन मान्य होने के बावजूद 2021 की यूपी-टीईटी के लिए मिले रिकॉर्ड आवेदन सूबे में डीएलएड (पूर्व में बीटीसी) और बीएड योग्यताधारी बेरोजगारों की कहानी खुद बयां कर रहे हैं।