पीठासीन अधिकारियों के झोले में ईवीएम-वीवीपैट के अलावा दस्त-बुखार सहित 99 सामग्रियां होंगी। मतदान के एक दिन पहले, बूथों पर रवानगी से पूर्व दीन दयाल उपाध्याय गोरखपुर यूनिवर्सिटी में यह झोला, पीठासीन अधिकारियों को सौंपा जाएगा। प्रभारी अधिकारी लेखन एवं निर्वाचन की देखरेख में ये झोले तैयार किए जा रहे हैं।
जिले में 4126 बूथ हैं। इन बूथों के अलावा 10 फीसदी अतिरिक्त झोले भी तैयार किए जा रहे हैं। विधानसभा चुनाव 2022 के लिए निर्वाचन आयोग की तरफ से जारी कार्यक्रम के मुताबिक जिले में मतदान तीन मार्च को होगा। इसके एक दिन पहले यानी दो मार्च को ही बूथों पर पोलिंग पार्टियां पहुंच जाएंगी। कोरोना संक्रमण के बढ़ते प्रसार को देखते हुए कोविड प्रोटोकॉल का पालन कराते हुए मतदान कराया जाएगा। कोरोना के लक्षण वाले मतदाताओं को आखिरी घंटे में मतदान का मौका दिया जाएगा। इसके लिए पोलिंग पार्टियों का नेतृत्व करने वाले पीठासीन अधिकारी को पीपीई किट उपलब्ध कराया जाएगा।
सभी बूथों पर सैनिटाइजर भी मौजूद रहेगा। साथ ही मतदान के लिए बूथों पर रवाना होने से पहले जिला प्रशासन की तरफ से पीठासीन अधिकारियों को एक झोला उपलब्ध कराया जाएगा जिसमें ईवीएम, वीवीपैट समेत 99 तरह की सामगियों में प्राथमिक उपचार यानी दस्त, बुखार, मरहम पट्टी भी शामिल है।
पीठासीन अधिकारी के झोले में रहेगी ये प्रमुख सामग्री
नियंत्रण यूनिट, मतदान यूनिट, वीवीपैट, मतदाताओं के लिये रजिस्टर, मतदाताओं की पर्चियां, निर्वाचक नामावली का चिह्नित व वर्किंग प्रति, अभकर्ताओं के हस्ताक्षर की कॉपी, ईवीएम के लिए ग्रीन पेपर सील, पीठासीन के लिए धातु के मुहर, पीठासीन की डायरी, रबर स्टैंप, वैकल्पिक दस्तावेज, निर्वाचन लड़ने वाले अभ्यर्थियों की सूची, पीठासीन की डायरी रिपोर्ट लिफाफा, ड्यूटी प्रमाण पत्र, रसीद पुस्तक, पीठासीन के रिकार्ड के लिए लिफाफा, सामान्य पेंसिल, बाल पेन, कोरा कागज, मुहरबंद के लिए कपड़ा, मतदान सामग्री, ब्लेड, मोमबत्ती, अमिट स्याही, ड्राइंग पिन, चेक लिस्ट, रबर बैंड आदि।