प्रदेश के पंचायतीराज मंत्री भूपेंद्र सिंह चौधरी ने सोमवार को ग्राम पंचायतों में 58,189 पंचायत सहायकों (पंचायत सहायक/ एकाउंटेंट-कम-डाटा इंट्री आपरेटर) की नियुक्ति से संबंधित विस्तृत दिशा निर्देश का एलान किया। उन्होंने कहा कि ग्राम पंचायत के पदाधिकारी अपने परिजनों व रिश्तेदारों को पंचायत सहायक नहीं बना पाएंगे। चयन की प्रक्रिया 30 जुलाई से शुरू होगी और 10 सितंबर तक पूरी कर नियुक्ति पत्र दे दिए जाएंगे।
भूपेंद्र सिंह चौधरी लोकभवन में पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने बताया कि पंचायत सहायक के पद पर ग्राम पंचायत के प्रधान, उप प्रधान, सदस्य अथवा सचिव का संबंधी नहीं नियुक्त किया जा सकेगा। संबंधियों में पिता, दादा, श्वसुर (पितृ अथवा मातृ संबंधी) पुत्र, पौत्र, दामाद, पुत्र-वधु, बहन, पति, पत्नी, पुत्री, मां आएंगे। उन्होंने कहा कि योगी सरकार पंचायत सहायक की नियुक्ति के जरिए 58 हजार से अधिक लोगों को रोजगार देने जा रही है। साथ ही पंचायतों को ग्राम सचिवालय के रूप में विकसित कर ग्राम पंचायतों के सशक्तीकरण का प्रयास कर रही है।
उन्होंने कहा कि पंचायत सहायकों की नियुक्ति से प्रत्येक ग्राम पंचायत का नियमित व सुचारू संचालन संभव होगा। उन्होंने इस योजना को क्रांतिकारी पहल करार दिया। इस मौके पर अपर मुख्य सचिव पंचायतीराज मनोज कुमार सिंह, निदेशक पंचायतीराज किंजल सिंह व उप निदेशक पंचायत एसएन सिंह खासतौर से उपस्थित रहे।
हाईस्कूल व इंटरमीडिएट की मेरिट से चयन
मंत्री ने बताया कि ग्राम प्रधान की अध्यक्षता वाली प्रशासनिक समिति हाईस्कूल व इंटरमीडिएट की मेरिट पर चयन करेगी। यदि ग्राम पंचायत में कोविड-19 से मृतक व्यक्ति है तथा उसका वारिस इंटरमीडिएट पास है व आरक्षण श्रेणी को पूरा करता है तो उसे वरीयता दी जाएगी। कोविड से मृतक वारिसान में मृत व्यक्ति की पत्नी या पति, पुत्र, अविवाहित पुत्री व विधवा पुत्री, विधवा माता, अविवाहित भाई व अविवाहित बहन आएंगे। सामान्य श्रेणी की ग्राम पंचायतों में कोविड-19 की वजह से हुई मृत्यु का लाभ सामान्य श्रेणी के परिवार को ही दिया जाएगा। यदि एक ग्राम पंचायत में एक से अधिक कोविड से मृतक के वारिसानों के आवेदन आते हैं तो जिनका हाईस्कूल व इंटरमीडिएट के प्राप्ताकों के प्रतिशत का औसत अधिक होगा, उन्हें चयनित किया जाएगा। कोविड पॉजिटिव की पुष्टि एंटीजन, आरटीपीसीआर, ब्लड टेस्ट व सिटी स्कैन जांच के आधार पर होगी। कोविड-19 पाॅजिटिव होने की तिथि से 30 दिन के अंदर मृत्यु कोविड-19 से मृत्यु मानी जाएगी।
जिस श्रेणी में ग्राम पंचायत आरक्षित, उसी श्रेणी का पंचायत सहायक
गत दिनों संपन्न पंचायत चुनाव में ग्राम पंचायत जिस श्रेणी में आरक्षित रही है, उसी श्रेणी का अभ्यर्थी चयनित होगा। यदि ग्राम प्रधान का पद ओबीसी श्रेणी में आरक्षित है तो पंचायत सहायक ओबीसी से, यदि एससी श्रेणी में आरक्षित है तो एससी से और यदि एससी-एसटी-ओबीसी जाति महिला या सामान्य महिला के लिए आरक्षित है तो संबंधित श्रेणी की महिला अभ्यर्थी चयनित की जाएगी।
भर्ती के प्रमुख दिशा-निर्देश– चयनित व्यक्ति को 6000 रुपये प्रतिमाह मानदेय मिलेगा।- चयन एक वर्ष के लिए होगा। ग्राम सभा एक वर्ष बाद नए पंचायत सहायक की नियुक्ति कर सकेगी।- कार्यरत पंचायत सहायक के कार्य से संतुष्ट होने पर ग्राम सभा की खुली बैठक में प्रस्ताव पास कर एक-एक वर्ष कर दो वर्ष तक बढ़ाया जा सकेगा।
ग्राम पंचायत तय प्रक्रिया से पंचायत सहायक का चयन कर सूची जिलाधिकारी की अध्यक्षता वाली समिति को भेजेगी।
– डीएम की अध्यक्षता वाली समिति चयनित अभ्यर्थी की अर्हता व पात्रता का परीक्षण कर संस्तुति देगी। वह उस सूची में कोई बदलाव नहीं कर सकती है। यदि ग्राम पंचायत द्वारा चयनित अभ्यर्थी तय योग्यता पूरा नहीं करता है तो समिति पंचायत को फिर से चयन के लिए कहेगी। चयन पंचायत ही करेगी।- अर्हता व योग्यता पूरी करने वाले 18 से 40 वर्ष के ग्राम पंचायत के निवासी आवेदन कर सकेंगे। एससी-एसटी व ओबसी को 5 वर्ष की छूट।
पंचायत सहायक चयन का कैलेंडर
30 जुलाई से एक अगस्त: ग्राम पंचायत सूचना पट व मुनादी के जरिए आवेदन आमंत्रित करेगी।2 अगस्त से 17 अगस्त: डीपीआरओ कार्यालय, विकास खंड कार्यालय व ग्राम पंचायत में आवेदन लिया जाएगा। वहां उसकी रसीद दी जाएगी।24 अगस्त से 31 अगस्त: ग्राम पंचायत आवेदन पत्रों की श्रेष्ठता सूची तैयार कर प्रशासनिक समिति से अनुमोदित कराएगी और जिला स्तरीय समिति को अनुमोदन के लिए भेजेगी।1 सितंबर से 7 सितंबर: जिलाधिकारी की अध्यक्षता वाली समिति चयन सूची का परीक्षण कर संस्तुति देगी।8 सितंबर से 10 सितंबर: ग्राम पंचायत द्वारा पंचायत सहायक को नियुक्ति पत्र वितरित किया जाएगा।