प्रयागराज : शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) में सेंध लगाने की कोशिश में पकड़े गए तीन लेखपाल, साल्वर और गिरोह के सरगना समेत 14 आरोपितों को सोमवार शाम जेल भेज दिया गया। खुल्दाबाद पुलिस ने पहले सभी को कोर्ट में पेश किया और फिर नैनी जेल में दाखिल किया। वहीं, फरार चल रहे तीनों आरोपितों की तलाश में दबिश दी जा रही है। मूल अभ्यर्थियों के खिलाफ भी साक्ष्य जुटाकर गिरफ्तार करने की बात कही जा रही है।
क्राइम ब्रांच और खुल्दाबाद पुलिस ने रविवार सुबह रेलवे स्टेशन के बाहर से लेखपाल राहुल यादव, राधेश्याम वर्मा, कमलेश मौर्या, साल्वर गैंग के सरगना पवन कुमाद यादव समेत कुल 14 लोगों को गिरफ्तार किया था। इनके कब्जे कूटरचित प्रवेश पत्र, आधार कार्ड, कार, बाइक व नकदी बरामद हुई थी। अधिकांश साल्वर झारखंड और बिहार के रहने वाले हैं। मुकदमा दर्ज करने के बाद सभी को पुलिस ने कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया।
जबकि मांडा निवासी जयदीप मौर्य, पटना का साइबर कैफे संचालक मुन्ना और गाजीपुर का अवधेश फरार है। पुलिस का कहना है कि जयदीप ही अभ्यर्थियों से पैसा एकत्र करने का काम करता था। वह लेखपाल राहुल का बहुत विश्वसनीय व्यक्ति है। सरगना ने पूछताछ में बताया था कि उसे एक अभ्यर्थी के लिए साल्वर उपलब्ध कराने को 80 हजार रुपये मिलते थे। जबकि कुछ ने बताया कि लेखपाल अभ्यर्थियों से अधिक रकम वसूल करते थे। इस आधार पर अब जयदीप से पता लगाया जाएगा कि उसने टीईटी में पास कराने के लिए कितने लोगों सो सौदा किया था। कितना पैसा वसूला था। वह आरोपित लेखपालों से जुड़े कई अहम राज भी खोल सकता है। लिहाजा उसकी गिरफ्तारी पर पहले जोर दिया जा रहा है।