लखनऊ, प्रदेश की योगी सरकार बड़े मदरसों में जुलाई से प्री-प्राइमरी कक्षाएं चलाने जा रही है। उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा परिषद इसके लिए सिलेबस तैयार कर रहा है। इसे इस तरह तैयार किया जा रहा है ताकि यहां पढऩे वाले बच्चे भी दूसरे स्कूलों के बच्चों के साथ प्रतिस्पर्धा कर सकें। प्रदेश सरकार अनुदानित मदरसों में 25 मदरसों को प्री-प्राइमरी कक्षाओं के माडल के रूप में बनाने जा रही है। इनमें स्मार्ट क्लास, एस्ट्रोनामी लैब, ई-बुक बैंक, ई-लाइब्रेरी जैसी सुविधाएं भी विकसित की जाएंगी।
मदरसा बोर्ड की बुधवार को हुई बैठक में तय किया गया कि प्री-प्राइमरी कक्षाएं चलाने के लिए सिलेबस इस माह के अंत तक हर हाल में तैयार कर लिया जाए। जिन 25 मदरसों को माडल के रूप में विकसित किया जाना है उनके चयन का अधिकार मदरसा बोर्ड ने अपने रजिस्ट्रार को अधिकृत कर दिया है। बोर्ड के अध्यक्ष डा. इफ्तिखार अहमद जावेद की अध्यक्षता में हुई बैठक में राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग द्वारा मदरसा छात्र-छात्राओं का सर्वे कराने के अनुरोध को मंजूरी दे दी गई। आयोग गैर मान्यता प्राप्त मदरसों का भी सर्वे करेगा। बोर्ड ने रजिस्ट्रार को इस संबंध में शासन को पत्र लिखने के लिए अधिकृत कर दिया है।
बैठक में यह भी निर्णय लिया गया कि अब मदरसा बोर्ड की कापियों का मूल्यांकन अलग-अलग केंद्रों पर न कराकर केंद्रीयकृत रूप से कराया जाए। मदरसा विनियमावली 2016 में मदरसा शिक्षकों के परस्पर तबादले की कोई व्यवस्था न होने के कारण आ रही दिक्कतों को देखते हुए बोर्ड ने इस नियमावली में जरूरी संशोधन करवाने के लिए रजिस्ट्रार को अधिकृत कर दिया है। बैठक में अल्पसंख्यक कल्याण की निदेशक एवं बोर्ड की उपाध्यक्ष सी. इंदुमती, रजिस्ट्रार जगमोहन ङ्क्षसह, सदस्य कमर अली, तनवीर रिजवी, डा. इमरान अहमद, असद हुसैन एवं वित्त एवं लेखाधिकारी आशीष आनन्द मुख्य रूप से उपस्थित थे।
मदरसा शिक्षिकाओं को भी मिलेगा मातृत्व अवकाशः मदरसा शिक्षिकाओं को भी अब मातृत्व अवकाश व बाल्य देखभाल अवकाश प्रदान किया जाएगा। मदरसा बोर्ड ने अनुदानित मदरसों के लिए शासन स्तर से आदेश जारी करवाने के लिए बोर्ड के रजिस्ट्रार को निर्देशित किया है। बैठक में यह भी तय किया गया कि मातृत्व अवकाश का लाभ गैर अनुदानित मदरसों की शिक्षिकाओं को भी दिया जाएगा।
बोर्ड पर प्रदर्शित की जाएगी पूर्व छात्रों की जानकारीः मदरसा बोर्ड ने निर्णय लिया है कि सभी मदरसे अपने यहां के पूर्व छात्रों की जानकारी बोर्ड पर प्रदर्शित करेंगे। इसमें पूर्व छात्रों का पूरा विवरण होगा।मदरसा बोर्ड का मानना है कि इससे वर्तमान पीढ़ी अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए प्रेरित हो सकेगी।